PM मोदी ने हिल स्टेशन पर उमड़ी भीड़ पर जताई चिंता, कहा- तीसरी लहर रोकने के लिए बरतनी होगी सावधानी
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मंगलवार को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए पूर्वोत्तर राज्यों के मुख्यमंत्रियों के साथ कोरोना वायरस की स्थिति की समीक्षा की। इस बैठक में गृह मंत्री अमित शाह भी मौजूद रहे। बैठक में प्रधानमंत्री ने हिल स्टेशन और बाजारों में बिना मास्क और प्रोटोकॉल का पालन किए बिना उमड़ रही भीड़ को लेकर चिंता व्यक्त की और लोगों से सावधानी बरतने को कहा।
नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मंगलवार को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए पूर्वोत्तर राज्यों के मुख्यमंत्रियों के साथ कोरोना वायरस की स्थिति की समीक्षा की। इस बैठक में गृह मंत्री अमित शाह भी मौजूद रहे। बैठक में प्रधानमंत्री ने हिल स्टेशन और बाजारों में बिना मास्क और प्रोटोकॉल का पालन किए बिना उमड़ रही भीड़ को लेकर चिंता व्यक्त की और लोगों से सावधानी बरतने को कहा। उन्होंने कहा कि ये सही है कि कोरोना की वजह से टूरिज्म, व्यापार-कारोबार बहुत प्रभावित हुआ है, लेकिन आज मैं बहुत जोर देकर कहूंगा कि हिल स्टेशनों, बाजारों में बिना मास्क पहने, भारी भीड़ उमड़ना चिंता का विषय है। मोदी ने कहा कि लोग तर्क दे रहे हैं कि तीसरी लहर से पहले वो घूम रहे हैं, लेकिन तीसरी लहर खुद नहीं आएगी उसे इसी तरह लाया जाएगा।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मुख्यमंत्रियों से चर्चा के दौरान कहा कि पूर्वोत्तर के कुछ जिले ऐसे हैं जहां संक्रमण के मामलों में बढ़ोतरी दर्ज की जा रही है। हमें और सतर्क रहने की जरूरत है और लोगों को भी लगातार सतर्क करते रहना पड़ेगा। पूरा देश और विशेष तौर पर हमारे हेल्थ वर्कर्स ने अपनी जिम्मेदारी निभाते हुए गत डेढ़ वर्ष से लगातार परिश्रम किया है। पूर्वोत्तर की भौगोलिक चुनौतियों के बावजूद टेस्टिंग और ट्रीटमेंट से लेकर टीकाकरण का इंफ्रास्ट्रक्चर तैयार किया गया है। कोरोना संक्रमण को रोकने के लिए हमें माइक्रो स्तर पर और सख्त कदम उठाने होंगे। इससे जिम्मेदारी तय हो सकती है। माइक्रो कंटेनमेंट क्षेत्र पर पूरा जोर हमें लगाना है। पिछले 1.5 साल में जो अनुभव हमें मिले हैं, उसका भी पूरा इस्तेमाल करना होगा।
मोदी ने कहा कि हमें कोरोना वायरस के हर वैरिएंट पर भी नजर रखनी होगी, क्योंकि ये बहरूपिया है। म्यूटेशन के बाद ये कितना परेशान करने वाला होगा, इस बारे में एक्सपर्ट्स लगातार स्टडी कर रहे हैं। ऐसे में रोकथाम और उपचार बहुत जरूरी है। इन दोनों से जुड़े उपायों पर ही हमें हमारी पूरी शक्ति लगानी है। हमें टेस्टिंग और ट्रीटमेंट से जुड़े इंफ्रास्ट्रक्चर में सुधार करते हुए आगे चलना है। इसके लिए हाल ही में कैबिनेट ने 23 हजार करोड़ रुपए का एक नया पैकेज भी स्वीकृत किया है। नॉर्थ ईस्ट के सभी राज्यों को इस पैकेज से अपने हेल्थ इंफ्रास्ट्रक्चर को मजबूत करने में मदद मिलेगी। हमें विशेष रूप से ऑक्सीजन, पीडियाट्रिक केयर से जुड़े इंफ्रास्ट्रक्चर के निर्माण के लिए तेजी से काम करना होगा। पीएम केयर्स के माध्यम से देश में सैंकड़ों नए ऑक्सीजन प्लांट लगाए जा रहे हैं।
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