13 राजकीय कॉलेजों के भवनों का लोकार्पण और शिलान्यास, गहलोत बोले- हमने शिक्षा के क्षेत्र में नहीं रखी कमी

13 राजकीय कॉलेजों के भवनों का लोकार्पण और शिलान्यास, गहलोत बोले- हमने शिक्षा के क्षेत्र में नहीं रखी कमी

मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने बुधवार को 13 राजकीय कॉलेजों को भवनों के लोकार्पण और शिलान्यास की सौगात दी। गहलोत ने वीसी के जरिए 11 कॉलेजों के नवनिर्मित भवनों का लोकार्पण तथा 2 कॉलजों के भवनों का शिलान्यास किया। इन पर 5745.19 लाख रुपए की लागत आएगी।

जयपुर। मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने बुधवार को 13 राजकीय कॉलेजों को भवनों के लोकार्पण और शिलान्यास की सौगात दी। गहलोत ने वीसी के जरिए 11 कॉलेजों के नवनिर्मित भवनों का लोकार्पण तथा 2 कॉलजों के भवनों का शिलान्यास किया। इन पर 5745.19 लाख रुपए की लागत आएगी। कार्यक्रम में उच्च शिक्षा मंत्री भंवर सिंह भाटी, यूडीएच मंत्री शांति धारीवाल सहित कई विधायक भी जुड़े। मुख्यमंत्री ने कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा कि हमारा फोकस राजस्थान को बचाना है। लॉकडाउन में छूट देने के बाद पर्यटन स्थलों और बाजारों में फिर भीड़ इकट्ठी होने लगी है, जो चिंता का विषय है। विशेषज्ञों ने कहा कि ये हालात रहे, तो तीसरी लहर आएगी नहीं, हम उसको बुलाएंगे। उन्होंने कहा कि उच्च शिक्षा विभाग को भी अभियान चलाना चाहिए कि अभी सभी को कोविड से बचाना अहम है। डेढ़ साल से लोग घरों में बैठे हैं, जीवन व आजीविका बचाना हमारा लक्ष्य है।

गहलोत ने कहा कि कोरोना की दूसरी लहर में तो देश में हाहाकार मच गया था'। हमने बेहतर प्रबंधन किया, लेकिन फिर भी मौतें ज्यादा हुई। कल पीएम ने नॉर्थ ईस्ट के सीएम से बात की थी, तो कहा था कि खतरा अभी गया नहीं, इसलिए ध्यान रखना जरूरी। राजनीति अपनी जगह चलती रहेगी, लेकिन जहां मानव को बचाने की बात आए, वहां पर सब कुछ पीछे छोड़कर इंसानियत पर ध्यान देना चाहिए। मुख्यमंत्री ने कहा कि अब देश में जमाना बदल गया है। अब जाति पाति से मीटिंग करके आगे नहीं बढ़ा जाएगा, अब तो जाति, धर्म से ऊपर उठकर ही आगे बढ़ा जा सकता है। आज के समय में बिना शिक्षा के समाज आगे नहीं बढ़ सकता है। ब्यूरोक्रेसी व नेता की जिम्मेदारी है कि समाज में शिक्षा का विकास कराए।

गहलोत ने कहा कि हमने शिक्षा के क्षेत्र में कमी नहीं रखी है। जब मैं पहली बार मुख्यमंत्री बना था, तब हम शिक्षा में बहुत पिछड़े थे, लेकिन आज वह स्थिति प्रदेश में नहीं है। आज हम शिक्षा के क्षेत्र में बहुत आगे हैं। हमने इस बार 123 कॉलेज खोलने का फैसला किया। विधायक ने जहां कॉलेज मांगा, वहां कॉलेज दिए। बालिका शिक्षा को बढ़ावा देने के लिए 500 लड़कियां होने पर कॉलेज बनाने का फैसला किया है। अब तक 25 जगह के आंकड़े आ चुके हैं, यानि वहां पर अब सरकारी बालिका कॉलेज खुलेंगे। गहलोत ने कहा कि बालिका शिक्षा में आगे आना बहुत जरूरी है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश के सभी जिलों में सरकारी मेडिकल कॉलेज खुलेगा। अब तक 30 जिलों के लिए तो स्वीकृति भी मिल चुकी है। प्रदेश में कोचिंग खोलने के लिए भी योजना लेकर आए है, इस पर भी जल्द फैसला लिया जाएगा। इससे पहले यूडीएच मंत्री शांति धारीवाल ने कहा कि कोटा शिक्षा नगरी हैं। यह शहर आपको विश्व में ख्याति प्राप्त कराएगा। कोटा में कॉलेज को लेकर कुछ खामी बताई। 11 कमरों में 9 हजार स्टूडेंट्स कैसे पढ़ेंगे?। बड़ी बिल्डिंग में कला विषय होना चाहिए, छोटी बिल्डिंग में विज्ञान विषय होना चाहिए, जबकि इस वक्त वहां पर उलटा हो रहा है। धारीवाल ने कहा कि शिक्षकों की भर्ती का काम तेजी से चलना चाहिए। कोटा कोचिंग के लिए विश्व प्रसिद्ध जगह है। हरियाणा, मध्य प्रदेश में कोचिंग खुल चुके है, अब कोचिंग संस्थाएं खोलने पर विचार करें। एक वैक्सीन की शर्त के साथ कोचिंग भी खोलें।

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