राज्यवर्धन सिंह है राजस्थान के सबसे सफल खिलाड़ी
दो कांस्य समेत कुल 10 पदक जीते हैं
एथेंस ओलंपिक खेलों के रजत पदक विजेता निशानेबाज राज्यवर्धन सिंह राठौड़ कॉमनवेल्थ गेम्स में राजस्थान के सबसे सफल खिलाड़ी है।
जयपुर। बर्मिंघम में हो रहे कॉमनवेल्थ गेम्स में इस बार राजस्थान के चार खिलाड़ी अपनी चुनौती पेश करेंगे। 1930 में शुरू हुए कॉमनवेल्थ गेम्स में राजस्थान के खिलाड़ियों ने अब तक सात स्वर्ण, एक रजत और दो कांस्य समेत कुल 10 पदक जीते हैं। एथेंस ओलंपिक खेलों के रजत पदक विजेता निशानेबाज राज्यवर्धन सिंह राठौड़ कॉमनवेल्थ गेम्स में राजस्थान के सबसे सफल खिलाड़ी है। राज्यवर्धन ने तीन स्वर्ण और एक रजत पदक हासिल किया है। राज्यवर्धन ने 2002 के मैनचेस्टर राष्ट्रमंडल खेलों की डबल ट्रेप स्पर्धा में नये रिकॉर्ड के साथ स्वर्ण जीता। उन्होंने डबल ट्रेप की पेयर इवेंट में भी मुराद अली के साथ स्वर्णिम सफलता हासिल की। मेलबोर्न में 2006 में हुए खेलों में राज्यवर्धन ने डबल ट्रेप की व्यक्तिगत स्पर्धा में फिर स्वर्ण जीता और पेयर इवेंट में विक्रम भटनागर के साथ रजत पदक हासिल किया।
पिछले खेलों में थे तीन निशानेबाज
ऑस्ट्रेलिया के गोल्ड कोस्ट शहर में हुए 2018 के राष्ट्रमंडल खेलों में राजस्थान के तीन खिलाड़ियों ने निशानेबाजी में हिस्सा लिया। इनमें जयपुर की ओलंपियन अपूर्वी चंदेला, सीकर के ओमप्रकाश मिठारवाल और जालोर की महेश्वरी चौहान शामिल थे। ओमप्रकाश मिठारवाल ने 50 मीटर पिस्टल स्पर्धा में कांस्य पदक जीता।
कृष्णा पूनिया ने 52 साल बाद जीता था एथलेटिक्स में गोल्ड
राजस्थान के खिलाड़ियों ने कृष्णा पूनिया को छोड़ अपने सभी पदक निशानेबाजी में जीते हैं। कृष्णा पूनिया ने 2010 के दिल्ली राष्ट्रमंडल खेलों की डिस्कस थ्रो स्पर्धा में 61.51 मीटर की थ्रो के साथ स्वर्ण पदक जीता। पूनिया ने 1958 में कार्डिफ में महान मिल्खा सिंह के गोल्ड के 52 साल बाद एथलेटिक्स में भारत को दूसरा स्वर्ण दिलाया। कृष्णा पूनिया राष्ट्रमंडल खेलों में पदक जीतने वाली राजस्थान की एकमात्र एथलीट हैं।
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