नेटबंदी के खिलाफ दायर याचिकाओं को सुनवाई के लिए सीजे को भेजा

नेटबंदी के खिलाफ दायर याचिकाओं को सुनवाई के लिए सीजे को भेजा

नेटबंद मामले में राज्य सरकार से जवाब मांगा

जयपुर। राजस्थान हाईकोर्ट ने प्रदेश में प्रतियोगी परीक्षाएं आयोजित कराने के दौरान राज्य सरकार द्वारा नकल रोकने के लिए मोबाइल इंटरनेट बंद करने के खिलाफ दायर याचिकाओं को सुनवाई के लिए सीजे के पास भेजते हुए राज्य सरकार से जवाब मांगा है। जस्टिस एमएम श्रीवास्तव और जस्टिस फरजंद अली की खंडपीठ ने यह आदेश नीरज कुमार यादव सहित अन्य की जनहित याचिकाओं पर दिए। मामले की सुनवाई के दौरान एजी ने अदालत से जवाब के लिए समय मांगा। महाधिवक्ता ने कहा कि नेटबंदी के मुद्दे पर एक याचिका मुख्यपीठ, जोधपुर में भी लंबित हैं और उस पर नवंबर के अंतिम सप्ताह में उनमें सुनवाई होनी है। इसलिए इन सभी याचिकाओं की सुनवाई एक साथ करनी चाहिए।


याचिकाओं में कहा गया कि प्रदेश में प्रतियोगी परीक्षाओं के आयोजन के दौरान आए दिन मोबाइल इंटरनेट को बंद किया जाता है। नकल रोकने के आधार पर रोके गए इंटरनेट से आमजन को काफी परेशानी होती है। नेटबंदी होने से मोबाइल के जरिए होने वाले सभी तरह के ऑन लाइन ट्रांजेक्शन रुक जाते हैं। साथ ही लोग कैब इत्यादि परिवहन सुविधाओं का उपयोग भी नहीं कर पाते। वहीं बच्चों की ऑनलाइन कक्षाएं भी प्रभावित होती हैं। ऑनलाइन व्यापार रुकने से सरकार को राजस्व हानि भी होती है। इसलिए नेटबंदी को अवैध व असंवैधानिक घोषित किया जाए।

Post Comment

Comment List

Latest News

अभिव्यक्ति और संवाद के संतुलन पर पनपता है लोकतंत्र : धनखड़ अभिव्यक्ति और संवाद के संतुलन पर पनपता है लोकतंत्र : धनखड़
स्व-लेखा परीक्षा की आवश्यकता पर बल देते हुए धनखड़ ने कहा कि सेल्फ ऑडिट बहुत जरूरी है।
प्रधानमंत्री की सभा को ऐतिहासिक बनाने में जुटी भाजपा, राजेंद्र राठौड़ ने कहा, हर भाजपा कार्यकर्ता सभा में होगा शामिल
झारखंड : हाइवे पर जाम की वजह से भीषण हादसा, खड़े ट्रेलर में घुसी कार, 5 लोगों की मौत, 3 घायल
दोस्तों ने पार्टी करने के लिए बुलाया, फिर किया आग के हवाले, अस्पताल में इलाज के दौरान युवक की मौत 
सोना और चांदी 600 रुपए सस्ता 
पंजाब ग्रेनेड हमले के 3 आरोपी गिरफ्तार, हथियार बरामद
''100 सालों से आगे कैसे जिएं'' विषय पर नीर बारज़िलाई ने दिया व्याख्यान