चिकित्सा केन्द्र में महिला के परिजनों ने किया हंगामा
बीमार बेटी का उपचार कराने आई महिला ने चिकित्सक पर लगाया अभद्रता का आरोप
महिला के परिजनों का आरोप था कि अस्पताल में अव्यवस्था का आलम है, चिकित्सा मंत्री क्षेत्र के होने के बावजूद भी अस्पतालों की व्यवस्थाएं बदहाल हैं।
रामगढ़ पचवारा। यहां सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र में गुरुवार बुखार से पीड़ित बेटी का उपचार करने आई महिला ने चिकित्सक पर उपचार नहीं करने एवं उससे अभद्रता कर सीएचसी से बाहर निकालने का मामला प्रकाश में आया है। मामले को लेकर महिला के परिजनो ने अस्पताल में हंगामा कर दिया। महिला केशन्ता देवी का आरोप है कि वह बेटी सोमा को तेज बुखार होने पर अस्पताल लेकर गई थी, पहले कतार में लगी एवं बारी आने के बाद चिकित्सक के पास पहुंची। डाक्टर ने बेटी से कुछ जानकारी चाही तो बेटी की एवज में मैने उन्हें बताने की चेष्टा की, जिस पर डाक्टर धर्मपाल मिमरोठ उखड़ गए एवं बेटी का उपचार नहीं करने एवं धक्के मार कर अस्पताल से बाहर निकालने को कहा। घटना को लेकर परिजन सहित मुकेश रामगढ, भरतला, श्रीराम माधोपुरा सहित अन्य ग्रामीण मौके पर पहंचें एवं अस्पताल में जमकर हंगामा कर दिया। महिला के परिजनों का आरोप था कि अस्पताल में अव्यवस्था का आलम है, चिकित्सा मंत्री क्षेत्र के होने के बावजूद भी अस्पतालों की व्यवस्थाएं बदहाल हैं। वहीं अन्य युवक ललित जो फुंसी का उपचार कराने आया था, जिसे इंजेक्शन लगाने के बाद अचेत होने पर परिजनों ने डाक्टर के उपचार पर सवाल खड़े करते हंगामा कर दिया। मरीज के परिजन मोतीलाल का कहना है कि बेटे के पैर में फुंसी थी जिसका उपचार कराने अस्पताल आया था। डाक्टर के इंजेक् शन लगाने के बाद बेटा बेहोश हो गया एवं आंखों से दिखाई देना बंद हो गया। घटना को लेकर बीसीएमओ भी घटना स्थल पर पहुंच मामले की जानकारी ली। डाक्टर धर्मपाल का कहना है महिला की ओर से लागाए गए आरोप बेबुनियाद हैं, बेटी सोमा को बुखार, उल्टी व पेट दर्द की शिकायत थी। महिला इंजेक्शन व ड्रिप लगाने की बात कह रही थी, मैने उससे कहा कि डाक्टर मैं हूं उपचार कैसे करना है हमारी जिम्मेदारी है। इस पर महिला नाराज हो गई एवं फोन कर परिजनो को बुला कर हंगामा कर दिया। वहीं दूसरे मरीज के पांव में घाव था, इंजेक्शन लगाकर भेज दिया, घर चला गया रास्ते में घबराहटहोने पर परिजन वापस लेकर आए, मरीज के भूखा पेट होने से यह स्थिति बनी। बाद में उपचार कर दिया एवं मरीज को राहत मिल गई।
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