बारां-झालावाड़ रोड़ पर दो माह से रेलवे ओवरब्रिज का काम बंद

क्रासिंग के दौरान रेलवे फाटक बंद करने से हर रोज जाम लग जाता है, निर्माण सामग्री सड़कों पर बिखरी पड़ी है, आए दिन हो रहे हादसे , 40 फीसदी आबादी परेशान

बारां-झालावाड़ रोड़ पर दो माह से रेलवे ओवरब्रिज का काम बंद

बारां में झालावाड़ रोड़ पर रेलवे ओवरब्रिज का निर्माण काम दो माह से बंद पड़ा है। इससे शहर की 40 फीसदी आबादी सहित झालावाड़ के लिए आवाजाही करने वाले लोग परेशान हो रहे हैं।

बारां ।  बारां में झालावाड़ रोड़ पर रेलवे ओवरब्रिज का निर्माण काम दो माह से बंद पड़ा है। इससे शहर की 40 फीसदी आबादी सहित झालावाड़ के लिए आवाजाही करने वाले लोग परेशान हो रहे हैं।  रेल और मालगाडियों की क्रोसिंग के दौरान तेल फैक्ट्री रेलवे फाटक पर दिनभर में करीब 10 बार रेलवे फाटक बंद होती है। इस कारण वाहनों का जाम लग जाता है। इस दौरान सैंकड़ों वाहनों की कतारें लग जाते है। जिससे आम लोगों का समय बर्बाद हो रहा है। जानकारों का मानना है कि ओवरब्रीज का निर्माण कार्य दीपावली पर शुरु हुआ था और 3 जून 2023 में पूरा होना प्रस्तावित है। लेकिन जिस कछुआ चाल से निर्माण काम चल रहा है जिससे सात या आठ साल तक यह काम पूरा होने की उम्मीद नहीं है।

झालावाड़ रोड पर व खजूरपुरा तिराहे के पास पिलर ड्रिलिंग का कार्य करने के बाद काम बंद कर दिया है। काम शुरू होने के बाद से बड़े साधनों को डायवर्ट कर निकाला जा रहा है। वहीं दुपहिया व चौपहिया वाहनों को सिंगल लेन में निकाला जा रहा है। इसके साथ ही अब काम बंद होने के बाद भी लोगों को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। बारां जिले में बारां शहर में तेल फैक्ट्री फाटक पर निमार्णाधीन रेलवे ओवरब्रिज के कार्य की समीक्षा को लेकर खान व गोपालन मंत्री प्रमोद जैन भाया ने बैठक ली थी और  मंत्री भाया ने आरओबी निर्माण में संवेदक की ओर से बरती जा रही ढ़िलाई को लेकर नाराजगी जताई।उन्होंने आरएसआरडीसी के अधिकारियों को मॉनिटरिंग में सख्ती के साथ तेजी के कार्य करवाने के निर्देश दिए थे। साथ ही लापरवाही बरतने पर संवेदक को नोटिस देने व आवश्यकता होने पर फर्म ब्लैक लिस्टेड करने के निर्देश दिए।

अधिकारियों की यह कैसी जिम्मेदारी
 कार्यकारी एजेंसी आरएसआरडीसी है कार्यकारी एजेंसी के अधिकारी ऐसी मनमानी रवैया अपनाएंगे, तो कार्य को लेकर गंभीरता सहज ही समझी जा सकती है। पहले कोटा-बीना के बीच सिंगल लाइन से फाटक कम बंद हुआ करता था। लेकिन अब कोटा से सालपुरा तक दोहरीकरण का कार्य पूरा होने के बाद मालगाड़ीयों की संख्या में इजाफा हुआ है। इसके कारण अब दिनभर में  बार-बार फाटक बंद होने से घंटों लंबा जाम लगता है। जहां पिलर ड्रिलिंग के लिए गढ्ढे खोदे। वहां संकेतक तक नही झालावाड़ रोड़ पर संवेदक कंपनी की ओर से ओवरब्रिज निर्माण के लिए कई जगह पर पिलर ड्रिलिंग करने के लिए गढ्ढे खोदे गए है। लेकिन यहां पर चेतावनी के लिए संकेतक बोर्ड तक नही लगाए गए है। इसके कारण यहां पर कई बार वाहन चालक दुर्घटनाग्रस्त हो चुके है।

परेशान जनता की जुबानी
मदन मोहन सिंह सिसोदिया ने बताया कि जब काम शुरू हुआ था तो लगा था कुछ महीनों की परेशानी के बाद ओवरब्रिज बनने से राहत मिलेगी। लेकिन सालभर से ज्यादा समय निकलने के बाद अब ओवरब्रिज का काम बंद पड़ा हुआ है। जिसके कारण परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। ओवरब्रिज का निर्माण बंद होने से शहर की करीब 40 फीसदी से ज्यादा आबादी को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है।

आकाश खरारा का कहना है कि झालावाड़ रोड को बंद करके सड़क पर ही सरिया, सीमेंट समेत अन्य निर्माणधीन सामग्री को डाला गया है। संवेदक कंपनी की ओर से इस सड़क को बंद कर दो अस्थाई रास्ते बनाए गए थे। लेकिन इन पर भी कई बार बाइक फिसलने से अब तक 30 से अधिक लोग घायल हो चुके है। इसके बावजूद भी लोगों के लिए पुराना रास्ता नही खोला जा रहा है।

भाजपा नगर अध्यक्ष महावीर नामा का कहना है कि फाटक पर घंटों लंबा जाम रहने के कारण कई बार मेडिकल इमरजेंसी में एंबुलेंस तक जाम में फंस जाती है, इसके कारण मरीज की जान पर बन आती है। आरओबी के अधिकारियों को को लताड़ लगाई गई है। जनता परेशान हो रही है लेकिन जिम्मेदार लापरवाही बरत रहे है। ओवरब्रीज निर्माण में कोताही बरती जा रही है। कई माह से काम बंद है। जल्द निर्माण शुरू नही किया गया तो बड़ा आंदोलन किया जाएगा। इसी माह के अंत तक निर्माण शुरू करने की बात कही और निर्माण कंपनी को नोटिस थमाने की बात भी कही है।

डीआरडीसी के अधिकारी मनोज माथुर का कहना है कि अक्टूबर 2021 को काम शुरु हुआ और जून 2023 को काम पूरा होना था। काम में देरी पर दो बार ठेकेदार को नोटिस दिया जा चुका है लेकिन तीसरा नोटिस मिलने पर ठेकेदार को हटा दिया जाएगा। 

यह सही है कि आरओबी का काम बंद है। ठेकेदार द्वारा लापरवाही की जा रही है। ठेकेदार को शीघ्रता से काम शुरू करने के निर्देश दिए है नही तो ठेकेदार के खिलाफ कार्रवाई की जायेगी।
- नरेन्द्र गुप्ता,कलेक्टर

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