लोकसभा चुनावों में पड़ोसी राज्यों से समन्वय कर बरतनी होगी सतर्कता : पंत
तैयारियों के संबंध में चर्चा की
अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक कानून एवं व्यवस्था विशाल बंसल ने शराब और ड्रग्स के अवैध परिवहन एवं गैर जमानती भगोड़े अपराधियों सहित अन्य लंबित अंतरराज्यीय प्रकरणों के संबंध में प्रस्तुतीकरण दिया।
जयपुर। प्रदेश में लोकसभा चुनावों पूरी तरह सतर्कता बरती जाएगी। इसके लिए मुख्य सचिव सुधांशु पंत और मुख्य निर्वाचन अधिकारी प्रवीण गुप्ता ने बैठकों का सिलसिला शुरू कर दिया है। मुख्य सचिव ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से प्रदेश के पांच पड़ोसी राज्यों पंजाब, हरियाणा, उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश और गुजरात के मुख्य सचिवों, पुलिस महानिदेशकों और गृह विभाग के प्रमुख सचिवों की बैठक को संबोधित किया। बैठक में लोकसभा चुनाव को देखते हुए कानून-व्यवस्था सहित अन्य तैयारियों के संबंध में चर्चा की। मुख्य सचिव ने कहा कि लोकसभा चुनाव को स्वतंत्र, निष्पक्ष और पारदर्शी ढंग से सुनिश्चित कराने के लिए राजस्थान सहित सभी पड़ोसी राज्यों को समन्वय बनाकर संवेदनशीलता और सतर्कता बरतनी होगी। उन्होंने कहा कि अवैध नकदी, अवैध शराब आदि के प्रवाह को रोकने के लिए अंतरराज्यीय सीमाओं पर दो तरफा निगरानी बढ़ाई जानी चाहिए। पुलिस महानिदेशक उत्कल रंजन साहू ने कहा कि निर्वाचन प्रक्रिया शांतिपूर्ण संपन्न कराने के लिए प्रदेशभर में पुलिस प्रभावी रूप में निषेधात्मक कार्रवाई कर रही है। अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक कानून एवं व्यवस्था विशाल बंसल ने शराब और ड्रग्स के अवैध परिवहन एवं गैर जमानती भगोड़े अपराधियों सहित अन्य लंबित अंतरराज्यीय प्रकरणों के संबंध में प्रस्तुतीकरण दिया।
बॉर्डर चेक पॉइन्ट्स पर प्रभावी कार्रवाई की आवश्यकता : गुप्ता
गुप्ता ने बताया कि वीसी में निर्वाचन के दौरान धन-बल, अवैध शराब और मादक पदार्थों को रोकने के लिए प्रभावी कार्य-योजना बनाकर कार्य करने, बॉर्डर एरिया चेक पॉइन्ट्स पर सघन जांच, सभी एजेंसियां को समन्वय से कार्य करने और आयोग के सभी निर्देशों का पालन अनिवार्य रूप से करने के निर्देश दिए गए। उन्होंने बताया कि निर्वाचन प्रक्रिया के दौरान प्रदेश में कानून-व्यवस्था को प्रभावित कर सकने वाले मुद्दों की सूची बनाकर पुलिस एवं प्रवर्तन एजेंसियों को चाक-चौबंद कर दिया गया है। इसके लिए पुलिस और आबकारी विभाग की राजस्थान के 223 चेक पॉइन्ट्स एवं पड़ोसी राज्यों के 174 चेक पॉइन्ट्स पर कड़ी निगरानी रखी जा रही है। जरूरी मामलों में सीआरपीसी, एनडीपीएस, एनएसए, राजपासा आदि में मामले दर्ज कर कानूनी कार्रवाई भी की जा रही है। चुनाव की घोषणा होने के बाद से ही असलाह की जब्ती का कार्य भी किया जा रहा है।
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