मायरा: थाली में 51 लाख लेकर भात भरने पहुंचे मामा
बहन को ओढ़ाई नोटों से बनी चुनरी, 25 तौला सोने और एक किलो चांदी के जेवर भी दिए
मंगलवार को लाडनूं में जायल के राजोद निवासियों मामाओं द्वारा भरा गया मायरा काफी चर्चा में रहा।
लाडनूं। वैसे तो मायरा भारतीय शादियों की एक सामान्य रस्म है लेकिन राजस्थान के नागौर जिले में मायरे को काफी खास माना जाता है। यहां मायरा परंपरा के साथ ही मान और सम्मान की रस्म के तौर पर भी प्रचलित है। इसी के तहत मंगलवार को लाडनूं में जायल के राजोद निवासियों मामाओं द्वारा भरा गया मायरा काफी चर्चा में रहा। पांच भाइयों की इकलौते बहन के मायरे में 51 लाख नकद के साथ ही 25 तौला सोने और एक किलो चांदी के जेवर देने पर हर कोई वाह-वाह करते नजर आया।
जानकारी के अनुसार वीर तेजा कॉलोनी निवासी और राज हॉस्पिटल के संचालक परमाराम पोटलिया की दो बेटियों प्रियंका (27) और स्वाति (25) की मंगलवार को शादी थी। मामा मगनाराम ने बताया कि 5 भाइयों के बीच सीता देवी इकलौती बहन है। बड़े भाई रामनिवास की तीन साल पहले मौत हो गई थी। उनकी इच्छा थी कि बहन का मायरा जब भी भरे, उसकी चर्चा अवश्य हो। मायरा में किसी भी तरह की कमी नहीं रहे। इस पर जायल के राजोद निवासी चार भाई सुखदेव, मगनाराम, जगदीश, जेनाराम और भतीजा सहदेव रेवाड़ मायरा लेकर पहुंचे। रिश्तेदारों व पंच पटेल की मौजूदगी में मायरा भरा गया।
30 साल से जमा कर रहे थे पैसे
मगनाराम ने बताया कि बड़े भाई की इच्छा के अनुसार 30 साल से रुपए जमा कर रहे थे। शुरू से परिवार की इच्छा थी कि दो भांजी का मायरा गाजे-बाजे के साथ भरा जाए। इस पर चारों मामा थाली में 51 लाख 11 हजार, 25 तोला सोना और 1 किलो चांदी के जेवरात लेकर पहुंचे। इसके अलावा बहन के ससुराल वालों को भी सोने-चांदी के जेवर गिफ्ट के तौर पर दिए गए।
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