आकाश गंगा प्रोजेक्ट में हवा से बनेगा शुद्ध पानी
ग्राउंड वॉटर का लेवल दिनोंदिन कम हो रहा है
फ्लोराइडयुक्त पानी पीकर लोगों को कई बीमारियां हो गई हैं। शरीर के अंग टेड़े हो जाते हैं। ग्राउंड वॉटर का लेवल दिनोंदिन कम हो रहा है।
जयपुर। एनवायरनमेंटल साइंस की छात्रा प्रांजल शर्मा ने महिला सशक्तिकरण का उदाहरण पेश किया है। रिसर्च वर्क से प्रांजल ने प्रोजेक्ट आकाश गंगा तैयार किया, जिसमें हवा से पानी बनेगा। प्रांजल ने बताया कि सांभर झील के पानी में नाइट्रेट सॉल्ट की वजह से कुछ पक्षी मर गए थे। वहां पानी की कमी थी। मन बहुत दुखी हुआ। वहीं फ्लोराइडयुक्त पानी पीकर लोगों को कई बीमारियां हो गई हैं। शरीर के अंग टेड़े हो जाते हैं। ग्राउंड वॉटर का लेवल दिनोंदिन कम हो रहा है।
वायु जल टेक्नोलॉजी से कॉलोब्रेशन कर वायुमंडलीय जल जनरेटर प्राप्त किया है। इसे उन इलाकों में लगाएंगे जहां पानी की कमी है। वहां लोगों को हवा से शुद्ध पानी बनकर मिलेगा। जोबनेर के एक डे केयर सेंटर में बच्चों के लिए यह पॉवरप्लांट लगा रहे हैं, जिसकी कीमत 11 लाख थी। अपनी सेविंग्स में जुड़े पांच लाख रुपए लेकर मैंने क्राउड फंडिंग शुरू की और 6 लाख रुपए लोगों के सहयोग से जोड़कर वायुजलीय जल जनरेटर खरीदा है। जल्द यह पावर प्लांट वहां लगा रहे हैं।
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