त्याग वीर हैं तो निर्धारित प्रारूप में इस्तीफा दें विधायक: राजेंद्र राठौड़

कहा- मंत्री पद के नाते मिल रही सभी सुविधाएं तत्काल छोड़ देनी चाहिए

त्याग वीर हैं तो निर्धारित प्रारूप में इस्तीफा दें विधायक: राजेंद्र राठौड़

राजेंद्र राठौड़ ने कहा कि गहलोत इतने कमजोर सीएम है कि जिस विधानसभा क्षेत्र में जाते हैं। उस विधायक के लिए कहते हैं कि उन्हीं के कारण उनकी सरकार बची है।

जयपुर। भारतीय जनता पार्टी के अल्पसंख्यक मोर्चा के प्रशिक्षण शिविर में शामिल होने अजमेर पहुंचे उप नेता प्रतिपक्ष राजेंद्र राठौड़ ने प्रदेश के वर्तमान राजनीतिक हालातों पर टिप्पणी करते हुए कहा कि इस्तीफा देने वाले विधायक यदि इतने ही बड़े त्याग वीर हैं तो उन्हें निर्धारित प्रारूप में इस्तीफा देना चाहिए। साथ ही जो सत्ता में मंत्री हैं और त्यागपत्र दे चुके हैं उन्हें मंत्री पद के नाते मिल रही सभी सुविधाएं तत्काल छोड़ देनी चाहिए।

राजेंद्र राठौड़ ने पत्रकारों से बातचीत में कहा है यह अंतर्विरोध आज का नहीं है। इससे पहले कांग्रेस सरकार 34 दिन तक क्वॉरेंटाइन में रही। सरकार के विधायक दो अलग-अलग गुटों में बैठकर पांच सितारा होटलों में बाड़ेबंदी में रहे। यह अंतर्विरोध अब अपनी चरम सीमा पर पहुंच गया है। राठौड़ ने कहा कि सरकार के 81 विधायक इस्तीफा दे चुके हैं लेकिन प्रदेश में तबादला उद्योग जारी है। मंत्री रात को तबादला सूचियों पर हस्ताक्षर कर रहे हैं।

मुख्यमंत्री अशोक गहलोत खुद को मारवाड़ का गांधी और आलाकमान का वफादार कहते थे। वह असल में सत्ता लोलुप निकले। राठौड़ ने गहलोत पर तंज कसते हुए कहा कि वह इतने कमजोर सीएम है कि जिस विधानसभा क्षेत्र में जाते हैं। उस विधायक के लिए कहते हैं कि उन्हीं के कारण उनकी सरकार बची है। जब वह दानिश अबरार के यहां गए तो कहा कि दानिश अबरार के कारण उनकी सरकार बची। जब वह राजेंद्र सिंह गुढ़ा के यहां एक पारिवारिक समारोह में गए तो वहां भी कहा कि राजेंद्र गुढ़ा के कारण ही उनकी सरकार बची है।

उन्होंने कहा कि प्रदेश में कानून व्यवस्था ठप है, दहशतगर्दी का माहौल है, अपराध और अपराधी बेकाबू हैं। प्रदेश में विकास का पहिया रुका हुआ है। प्रदेश के 1 लाख 15 हज़ार किसानों को नोटिस जारी हो चुका है। कांग्रेस खंड-खंड हो रही है। आने वाले समय में चुनाव में कांग्रेस की हार तय है।

भाजपा पर षड्यंत्र का आरोप लगने के सवाल पर राठौड़ ने कहा कि इससे पूर्व केंद्र में वरिष्ठ नेता गुलाम नबी आजाद, कपिल सिब्बल वरिष्ठ नेता चले गए। इससे भाजपा का कोई लेना देना नहीं है। प्रदेश में संवैधानिक संकट के सवाल पर राठौड़ ने कहा कि संवैधानिक संकट जब होगा, जब विधानसभा अध्यक्ष विधायकों के त्यागपत्र स्वीकार कर लें। इसके बाद भाजपा अपना अगला कदम तय करेगी।

वहीं चुनावों में अल्पसंख्यक वर्ग को टिकट नहीं देने के सवाल पर राठौड़ ने कहा कि यह सब समय काल और परिस्थिति निर्भर करता है। यह कोई तय नहीं है की अल्पसंख्यक वर्ग को टिकट नहीं दिया जाएगा। इससे पूर्व निकाय चुनावों में और जिला परिषद चुनाव में अल्पसंख्यक वर्ग को टिकट दिए गए हैं। भाजपा का अल्पसंख्यक मोर्चा बेहतर काम कर रहा है। इसलिए आने वाले चुनावों में पार्लियामेंट्री कमेटी में यह पक्ष रखा जाएगा कि अल्पसंख्यक वर्ग को उचित प्रतिनिधित्व मिले। अल्पसंख्यक छात्रावास को लेकर हो रहे विरोध के सवाल पर राठौड़ ने कहा कि केंद्र सरकार की ओर से अल्पसंख्यक छात्रावास बनाए जा रहे हैं। राठौड़ ने कहा कि उन्होंने खुद पत्र लिखकर उनके विधानसभा क्षेत्र में अल्पसंख्यक वर्ग के लिए जमीन आवंटित कराई है। 

आगामी विधानसभा चुनाव के संबंध मे पूछे गए सवाल पर राठौड़ ने कहा कि आने वाले चुनाव में कांग्रेस का सफाया राजस्थान और छत्तीसगढ़ दोनों राज्यों से हो जाएगा। पहली बार ऐसा समय आएगा जब पूरे देश में कांग्रेस किसी भी राज्य में सत्ता में नहीं रह जाएगी। सचिन पायलट के भाजपा में शामिल होने के सवाल पर राठौड़ ने कहा कि सचिन पायलट प्रदेश के कद्दावर व्यक्तित्व है। उनके पिता का राजनीति में महत्वपूर्ण योगदान है।

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