सीवरेज संबंधी शिकायत की नहीं सुविधा, लोग हो रहे परेशान
आरयूआईडीपी का प्रोजेक्ट पूरा, अधिकारी बाहर भेजे
चैम्बर जाम होने से गंदा पानी घरों के आगे आ जाता है।
कोटा। शहर में पिछले कई सालों से चल रहा आरयूआईडीपी का सीवरेज लाइन डालने का प्रोजेक्ट पूरा होते ही यहां से अधिकारियों को भी अन्य जगह भेज दिया है। लेकिन यहां सीवरेज संबंधी समस्या होने पर न तो उसकी शिकायत की व्यवस्था है और न ही समस्या समाधान की सुविधा। जिससे लोगों को खासी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। शहर में सीवरेज लाइनें पुरानी होने से आरयूआईडीपी द्वारा नई लाइनें डाली गई है। पिछले कई सालों से पूरे शहर में किए गए इस काम के चलते सड़कों व गलियों को खोदने से लोग बरसों तक परेशान होते रहे। जैसे-तैसे काम किया गया तो सड़कों को सही नहीं बनाने से बाद में लोगों को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। कुन्हाड़ी निवासी अजय मेहरा का कहना है कि उनके क्षेत्र में आरयूआईडीपी ने सीवरेज लाइन डाली थी। लेकिन वह लाइन आए दिन जाम हो जाती है।जिससे चैम्बर से पानी बाहर सड़क पर गली में फेल जाता है। जिससे कई-कईदिन तक दुर्गंध से परेशानी होती है। लेकिन इस बारे में किसे और कहां शिकायत करें कोई सुनने वाला नहीं है। नगर निगम के एक इंजीनियर का कहना है कि कुन्हाड़ी में सीवरेज की समस्या काफी अधिक है। वह जिस क्षेत्र में रहते हैं वहां भी आए दिन चैम्बर जाम होने से गंदा पानी घरों केआगे आ जाता है। लेकिन इस संबंध में आरयूआईडीपी में किस अधिकारी व कार्यालय में शिकायत करें कोई सुनने वाला ही नहीं है। आरयूआईडीपी के अधीक्षण अभियंता राकेश गर्ग ने बताया कि वर्ष 2016 कीडीपीआर के हिसाब से विभाग को शहर में जो काम दिया गया था। वह पूरा कर लिया गया है। करीब 48 हजार घरों के कनेक् शन मुख्य लाइन से जोड़ने थे वह काम पूरा कर लिया गया है। विभाग का सीवरेज संबंधी कोई काम शेष नहीं है।
72 एमएलडीके 4 एसटीपी
गर्ग ने बताया कि विभाग ने शहर में मुख्य लाइन डालने केसाथ ही घरों के कनेक् शन कर दिए।साथ ही विभाग केशहर में 72 एमएलडी के 4 एसटीपी बनाए गए हैं। इनमें धाकड़खेड़ी में 40 एमएलडी का,बालिता और काला तालाब में 15-15 एमएलडी के व आॅक्सीजोन में 2 एमएलडी का सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट बनाए गए है। घरों से निकलने वाला वेस्ट सीवरेज के माध्यम से इन एसटीपी में ट्रीट हो रहा है।
अब निगम व केडीए का काम
एसई गर्ग ने बताया कि विभाग का काम पूरा हो गया है। अब शहर में अमृत -दो योजना के तहत नगर निगम व कोटा विकास प्राधिकरण का काम चल रहा है। हालांकि विभाग ने जो काम किया है वह शहर के कुल क्षेत्र का 70 फीसदी है। अभी भी करीब 30 फीसदीकाम बाकी है।
टोल फ्री नम्बर पर कर सकते हैं शिकायत
गर्ग ने बताया कि कोटा शहर मं आरयूआईडीपी का काम व प्रोजेक्ट पूरा हो गया है। उस प्रोजेक्ट की मॉनिटरिंग के लिए उन्हें लगाया गया था। लेकिन काम पूरा होने के बाद उन्हें भी अन्य जिले में जहां काम चल रहा है वहां भेज दिया है। कोटा शहर में आरयूआईडीपी के सीवरेजसंबंधी शिकायत के लिए टोल फ्री नम्बर पर शिकायत की जा सकती है। जिससे संबंधित संवेदक द्वारा ओ एंड एम के तहत निर्धारित समय तक उसे ही साफ सफाई संबंधी काम करना है।
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