विधानसभा क्षेत्रों में 1473 मतदाताओं ने किया मतदान
इस सुविधा के लिए आवेदन किया है
कुल 19 विधानसभा क्षेत्रों में 7230 वोटर्स ने इस सुविधा के लिए आवेदन किया है। इसमें 6328 बुजुर्ग मतदाता हैं, जबकि 902 विशेष योग्यजन मतदाता हैं।
जयपुर। प्रदेश में हो रहे विधानसभा चुनाव में मतदान की प्रक्रिया होम वोटिंग के साथ शुरू हो गई। जयपुर में होम वोटिंग की शुरुआत के पहले दिन जिले की 19 विधानसभा क्षेत्रों में 1473 दिव्यांग ने मतदान किया। जिला निर्वाचन अधिकारी प्रकाश राजपुरोहित ने बताया कि भारतीय निर्वाचन आयोग के निर्देश पर जिले की 19 विधानसभा क्षेत्रों में 7230 वोटर्स के लिए होम वोटिंग की प्रक्रिया शुरू हुई। इसमें 80 से अधिक के नागरिकों और 40 प्रतिशत से अधिक दिव्यांग श्रेणी के विशेष योग्यजन मतदाताओं को घर पर मतदान करने की सुविधा दी जा रही है। जिले की झोटवाड़ा विधानसभा क्षेत्र में सबसे अधिक 677 वोटर्स ने होम वोटिंग का विकल्प चुना है। विराटनगर विधानसभा क्षेत्र में न्यूनतम 230 वोटर्स ने होम वोटिंग की सुविधा के लिए आवेदन किया है। कुल 19 विधानसभा क्षेत्रों में 7230 वोटर्स ने इस सुविधा के लिए आवेदन किया है।
विधानसभा चुनाव में पहली बार होम वोटिंग की सुविधा दी जा रही है। जिन वोटर्स ने होम वोटिंग का विकल्प चुना हैं वह 19 तक मतदान कर पाएंगे। होम वोटिंग के लिए 1520 वोट का लक्ष्य निर्धारित किया गया था, जिसमें से 1473 मतदाताओं ने मतदान किया। उन्होंने बताया कि यह सुविधा विकल्प के रूप में दी गई है। योग्य मतदाताओं ने इस सुविधा का चयन करने के लिए 12-डी फॉर्म का भरकर बीएलओ को दिया था। ऐसे मतदाताओं की सूची निर्वाचक अधिकारी द्वारा सभी राजनीतिक दलों को दी गई है। होम वोटिंग के दौरान निर्वाचन टीम ने वोटिंग के दौरान होने वाली भी व्यवस्थाएं करने के साथ ही उसकी वीडियोग्राफी भी कराई है। इसी प्रकार विद्याधर नगर विधानसभा क्षेत्र में 80 वर्षीय शकुंतला ने मतदान किया।
5 कर्मचारियों की है टीम
विधानसभा चुनावों में मतदान का प्रतिशत बढ़ाने के लिए शुरू की गई होम वोटिंग सुविधा में मतदान करने के लिए बनाई गई पोलिंग पाटी में पांच कार्मिक हैं। इसमें माइक्रो ऑर्ब्जवर, पीआरओ, पोलिंग आॅफिसर (पीओ), रिकार्डिंग के लिए एक वीडियोग्राफर और सुरक्षाकर्मी है। प्रत्येक टीम को एक दिन में 15 से 20 वोट डलवाने का टारगेट दिया गया है। पहले चरण की यह प्रक्रिया 19 तक चलेगी। 19 तक अगर कोई वोटर घर पर अनुपस्थित मिलता है, तो उसके पास पोलिंग पार्टियां दोबारा वोट कराने फिर से उसके घर पहुंचेगी। यदि उसका वोट तब भी नहीं पड़ेगा, तो वह मतदान केंद्र पर भी वोट नहीं डाल सकेगा।
यह है प्रक्रिया
राजपुरोहित ने बताया कि होम वोटिंग के लिए होम वोट की सुविधा लेने वाले मतदाताओं की लिस्ट के अनुसार मतदाता के घर पहुंचती है। मतदाता की पहचान के लिए मौके पर बीएलओ रहता है। बीएलओ के सत्यापन के बाद पोलिंग पार्टी दस्तावेजों की जांच के बाद मतदान कराती है। मतदान के बाद मतदाता को बैलेट पेपर और एक घोषणपत्र भी दिया जाता है। मतदान के लिए मतदाता को पांच मिनट का समय दिया जाता है। मतदान होने के बाद मतपत्र मतपेटी में डाल दी जाती है।
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