ममता बनर्जी ने मोदी को फिर लिखा पत्र : मैं फिर अनुरोध करती हूं रेप-मर्डर के लिए कठोर कानून बनाएं
ममता बनर्जी ने मोदी को पहला पत्र 22 अगस्त को लिखा था
एक विशिष्ट समय-सीमा के अंदर इसके निपटारे को अनिवार्य बनाने का प्रावधान हो। इससे पहले, ममता बनर्जी ने मोदी को पहला पत्र 22 अगस्त को लिखा था।
कोलकाता। पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने आर जी कर मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल के दुष्कर्म-हत्याकांड मामलों में सुनवाई के लिए एक सख्त केंद्रीय कानून बनाने और निश्चित समय-सीमा निर्धारित करने के लिए प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को दूसरा पत्र लिखा। बनर्जी द्वारा 29 अगस्त को लिखे एक पत्र को सोशल मीडिया साइट ‘एक्स’ पर साझा किया गया जिसमें उन्होंने कहा कि मैं फिर से दोहराना चाहूंगी और विनम्र अनुरोध करती हूं कि दुष्कर्म/दुष्कर्म और हत्या जैसे जघन्य अपराधों के लिए एक कठोर केंद्रीय कानून बनाने और ‘उदाहरणात्मक दंड’ पर विचार करने की कृपा करें, जिसमें एक विशिष्ट समय-सीमा के अंदर इसके निपटारे को अनिवार्य बनाने का प्रावधान हो। इससे पहले, ममता बनर्जी ने मोदी को पहला पत्र 22 अगस्त को लिखा था।
जूनियर डॉक्टरों का आंदोलन जारी
इस बीच आर जी कर मेडिकल कॉलेज एवं अस्पातल की प्रशिक्षु डॉक्टर के साथ दुष्कर्म और फिर उनकी हत्या को लेकर कोलकाता में चल रहे विरोध प्रदर्शनों के बीच, राज्य के स्वामित्व वाले अस्पतालों में जूनियर डॉक्टरों का आंदोलन शुक्रवार को 22वें दिन में प्रवेश कर गया।
टीएमसी-भाजपा ने निकाला मार्च
कोलकाता में आज तृणमूल कांग्रेस की छात्र इकाई और भाजपा महिला शाखा सहित राजनीतिक दलों और नागरिक समाज ने विरोध मार्च निकाला। भाजपा महिला शाखा की प्रदर्शनकारियों ने राज्य महिला आयोग की घेराबंदी करने की कोशिश की, लेकिन इमारत तक पहुंचने की उनकी कोशिश को पुलिस ने नाकाम कर दिया और मेट्रो स्टेशनों और मार्च के शुरुआती स्थल से कई कार्यकर्ताओं को हिरासत में लिया।
राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग ने मांगी रिपोर्ट
इस बीच, राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग (एनएचआरसी) ने कोलकाता के पुलिस आयुक्त विनीत गोयल को नोटिस जारी करके मंगलवार को सचिवालय तक मार्च के दौरान प्रदर्शनकारियों पर किए गए लाठीचार्ज और आंसू गैस के उपयोग पर कार्रवाई रिपोर्ट मांगी।
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