वैश्विक डाक पारिस्थितिकी तंत्र को मजबूत करने का भारत सदैव प्रयास करेगा : कौल
बेहतर सेवा देने के लिए कनेक्टिविटी बढ़ाने की आवश्यकता पर जोर दिया
इसके अतिरिक्त एक पैनल चर्चा में दक्षिण-दक्षिण और त्रिकोणीय सहयोग और भारत के संयुक्त राष्ट्र विकास कोष पर चर्चा की गई।
जयपुर। डाक विभाग की सचिव वंदिता कौल ने वैश्विक डाक पारिस्थितिकी तंत्र को मजबूत करने के लिए भारत की अटूट प्रतिबद्धता को दोहराते हुए कहा कि हमारी भूमिका हमेशा क्षेत्रीय सहयोग को बढ़ाने की होगी। कौल तीन दिवसीय प्रथम एशिया प्रशांत डाक लीकर के फोरम का उद्घाटन कर रहीं थीं। उन्होंने डाक प्रशासन को प्रौद्योगिकी का लाभ उठाने, लॉजिस्टिक क्षमताओं में सुधार करने और समुदायों को बेहतर सेवा देने के लिए कनेक्टिविटी बढ़ाने की आवश्यकता पर जोर दिया। उन्होंने कहा कि एशिया प्रशांत डाक लीडर की बैठक में विचारों के आदान-प्रदान, सहयोग को बढ़ावा देने और डाक क्षेत्र में विकास के नए अवसरों की खोज के लिए एक महत्वपूर्ण मंच के रूप में काम करेगी। मेजबान देश के रूप में भारत की भूमिका क्षेत्रीय सहयोग को बढ़ाने और वैश्विक डाक नेटवर्क को मजबूत करने की उसकी प्रतिबद्धता पर जोर देती है। एशियाई प्रशांत डाक संघ के महासचिव विनय प्रकाश सिंह ने डाक क्षेत्र को आकार देने में एशिया-प्रशांत क्षेत्र की भूमिका पर अपने विचार रखे। इसके अतिरिक्त एक पैनल चर्चा में दक्षिण-दक्षिण और त्रिकोणीय सहयोग और भारत के संयुक्त राष्ट्र विकास कोष पर चर्चा की गई।
आईटीईसी पर भी सत्र आयोजित: भारतीय तकनीकी और आर्थिक सहयोग आईटीईसी पर सत्र भी आयोजित किया गया, जिसमें भारतीय तकनीकी और आर्थिक सहयोग आईटीईसी कार्यक्रम के माध्यम से क्षमता निर्माण पर चर्चा की गई। एशिया प्रशांत डाक लीडर का फोरम उन महत्वपूर्ण विषयों की एक विस्तृत श्रृंखला पर ध्यान केंद्रित करेगा, जो क्षेत्र में डाक सेवाओं के भविष्य को आकार दे रहे हैं। आने वाले दो दिनों में चर्चा डिजिटल युग में डाक सेवाओं की उभरती भूमिका पर केंद्रित होंगी, जिसमें वित्तीय समावेशन को बढ़ाने, डाक नेटवर्क को मजबूत करने और डाक प्रणालियों की ई-कॉमर्स क्षमताओं का विस्तार करने पर विशेष ध्यान दिया जाएगा।
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