क्या देख रहे हैं, पर्यटकों को पता ही नहीं

चम्बल रिवर फ्रंट : एक साल बाद भी नहीं मिल रही मॉन्यूमेंट की जानकारी

क्या देख रहे हैं, पर्यटकों को पता ही नहीं

उद्घाटन के बाद से लेकर अभी तक वही पुरानी सुविधाएं ही है। सिर्फ वाटर पार्क को शुरु किया गया है।

कोटा । विश्व स्तरीय पर्यटन स्थल चम्बल रिवर फ्रंट को शुरु हुए एक साल हो चुका है।  लेकिन अभी तक भी यहां सुविधाओं का विस्तार नहीं किया गया है। न तो पूरी दुकानें शुरू हुई और न ही मॉन्यूमेंट की पूरी जानकारी लिखी गई है। कोटा विकास प्राधिकरण की ओर से कांग्रेस सरकार के समय में चम्बल नदी के दोनों किनारों पर रिवर फ्रंट का निर्माण कराया गया। करीब साढ़े पांच कि.मी. के इस रिवर फ्रंट को शुरु हुए अभी एक साल हो चुका है। इस दौरान केडीए की ओर से यहां कोई सुविधाएं नहीं बढ़ाई गई है। उद्घाटन के बाद से लेकर अभी तक वही पुरानी सुविधाएं ही है। सिर्फ वाटर पार्क को शुरु किया गया है। 

गिनती की दुकानें, पर्यटकों को सुविधाएं नहीं
रिवर फ्रंट पर नदी के दोनों किनारों पर एक से बेहतर एक घाट तो बनाए गए है। उन घाटों के बीच में  व्यवसायिक दुकानें भी बनाई गई है। लेकिन हालत यह है कि उनमें से गिनती की कुछ ही दुकानें शुरू हो सकी है। ऐसे में यहां घूमने आने वालों को खाने-पीने से लेकर खरीदारी की कोई सुविधा नहीं है। 

बरसात में बोटिंग भी हुई बंद
रिवर फ्रंट पर आने वालों के लिए केडीए की ओर से बोटिंग की सुविधा शुरू की गई थी। इसे शुरू हुए अधिक समय भी नहीं हुआ था कि बरसात में बैराज से पानी छोड़ने के दौरान  उसे भी बंद कर दिया गया। अब अक्टूबर के बाद ही फिर से बोटिंग शुरू होने की संभावना है।  जानकारों के अनुसार केडीए ने आॅफ लाइनकेसाथ ही आॅनलाइन टिकट बुकिंग की सुविधा की वेबसाइट के माध्यम से की है। लेकिन वेबसाइट पर आॅनलाइन बुकिंग करवाने का रेस्पोंस कम आ रहा है। 

नदी में गिर रहा नालों का गंदा पानी 
रिवर फ्रंट पर नदी में नालों का गंदा पानीजाने से रोकने के लिए एसटीपी बनाया गया था। साथ  ही नदी में गिर रही सीवरेज लाइनों को भी शिफ्ट ुकिया गया था। लेकिन सरकार बदलने के साथ ही यहां के अधिकतम इंजीनियर भी बदल गए हैं। जानकारों के अनुसार वर्तमान में रिवर फ्रंट की तरफ नदी में नालों व सीवरेज का गंदा पानी गिर रहा है। ऐसा अधिकतर लाड़पुरा करबला व शिवदास घाट मुक्तिधाम की तरफ से हो रहा है। 

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मॉन्यूमेंट के नाम हैं , जानकारी नहीं
रिवर फ्रंट का निर्माण करते समय बनाए गए मॉन्यूमेंट के नाम तो सभी 26 स्थानों पर लिखे गए हैं। कई की पहचान तो इमारत देखने से ही हो रही है। लेकिन जिन लोगों को उनके बारे में पता नहीं है वे तो सिर्फ बिल्डिंग को देखकर ही आगे बढ़ रहे है। नदी के दोनों छोर पर जो 26 मॉन्यूमेंट व घाट बनाए गए हैं। वे कहां से लिए गए हैं। उनका क्या इतिहास है। उनके बारे में लोगों को कोई जानकारी अभी तक भी नहीं मिल पा रही है। 

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बार कोड़ से जानकारी देने की थी योजना
कांग्रेस सरकार के समय बनाए गए रिवर फ्रंट पर उस समय इंजीनियरों व आर्किटेक्ट द्वारा बताया गया था कि हर मॉन्यूमेंट की जानकारी वहां लगे बार कोड़ से मिलेगी। जैसे ही मोबाइलसे बार कोड को स्केन किया जाएगा वैसे ही उसकी जानकारी मिलेगी। लेकिन हालत यह है न तो बार कोड़ लगे हैं और न ही लिखित में कहीं जानकारी दी गई है। 

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अच्छी चीज है सुुविधाएं बढ़नी चाहिए
लोगों का कहना है कि रिवर फ्रंट शहर में एक अच्छा पर्यटन स्थल बना है। जिसे कोटा ही नहीं देशभर से लोग देखने आ रहेहै। ऐसे में इसकी सही ढंग से रखरखाव व सुविधाओं का विस्तार किया जाना चाहिए।  

दादाबाड़ी निवासी महेश कुमार शर्मा ने बताया कि एक साल पहले जिस तरह की स्थिति थी अभी भी वही स्थिति है। न तो अधिक दुकानें शुरू हुई हैं और न ही कोई अन्य सुविधाएं है। 

बसंत विहार निवासी नीरज सुमन ने बताया कि रिवर फ्रंट पर टिकट की रेट बढ़ाकर गोल्फ कोर्ट की सुविधा दी गई है। लेकिन यदि कोई गोल्फ कोर्ट की जगह पैदल  ही घूमना चाहता है तब भी उसे प्रवेश टिकट तो उतना ही देना पड़ेगा। ऐसा करना गलत है। 

इनका कहना है
रिवर फ्रंट पर सुविधाएं बढ़ाने के प्रयास किए जा रहे है। यहां की दुकानों को किराए पर देने की योजना थी।लेकिन अब सभी दुकानों को एक साथ लीज देने की योजना से चलते दुकानों को शुरू करने में देरी हो रही है। मॉन्यूमेंट की जानकारी भी लिखी जाएगी। प्रवेश टिकट में 200 रुपए के साथ ही 100 रुपए गोल्फ कोर्ट के भी शामिल है।  
- भूपेन्द्र बंशीवाल, एक्सईएन, कोटा विकास प्राधिकरण 

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