मन की बात : पहलगाम आतंकवादी हमले के पीड़ितों को मिलेगा न्याय, मोदी ने कहा- दोषियों पर होगी कठोरतम कार्रवाई
भारत अंतरिक्ष क्षेत्र में नई ऊंचाइयां छूएगा: मोदी
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रविवार को कहा कि पहलगाम आतंकवादी हमले के पीड़ितों को न्याय मिलेगा और दोषियों पर कठोरतम कार्रवाई की जाएगी
नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रविवार को कहा कि पहलगाम आतंकवादी हमले के पीड़ितों को न्याय मिलेगा और दोषियों पर कठोरतम कार्रवाई की जाएगी। मोदी ने आकाशवाणी पर अपने मासिक रेडियो कार्यक्रम मां की बात की 121 वीं कड़ी में देशवासियों को संबोधित करते हुए कहा कि जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में आतंकवादी हमले से देश का हर व्यक्ति पीड़ा और आक्रोश में है। उन्होंने कहा कि हमले से पीड़ित प्रत्येक परिवार के प्रति हर व्यक्ति की संवेदना है। उन्होंने कहा कि मैं पीडि़त परिवारों को फिर भरोसा देता हूँ कि उन्हें न्याय मिलेगा, न्याय मिलकर रहेगा। इस हमले के दोषियों और साजिश रचने वालों को कठोरतम जवाब दिया जाएगा।
मोदी ने कहा कि जिन लोगों ने इस हमले में अपने परिजनों को खोया है, उनका दर्द देश का प्रतीक व्यक्ति महसूस कर रहा है। हर भारतीय का खून आतंकी हमले की तस्वीरों को देखकर खौल रहा है। प्रधानमंत्री ने कहा पहलगाम में हुआ ये हमला आतंक के सरपरस्तों की हताशा को दिखाता है, उनकी कायरता को दिखाता है। ऐसे समय में जब कश्मीर में शांति लौट रही थी, स्कूल-कॉलेजों में चहल-पहल थी, निर्माण कार्यों में अभूतपूर्व गति आई थी, लोकतंत्र मजबूत हो रहा था, पर्यटकों की संख्या में रिकॉर्ड बढ़ोतरी हो रही थी, लोगों की कमाई बढ़ रही थी, युवाओं के लिए नए अवसर तैयार हो रहे थे। देश और जम्मू-कश्मीर के दुश्मनों को ये रास नहीं आया। उन्होंने, आतंकी और आतंक के आका चाहते हैं, कश्मीर फिर से तबाह हो जाए और इसलिए इतनी बड़ी साजिश को अंजाम दिया।
मोदी ने कहा कि आतंकवाद के खिलाफ इस युद्ध में देश की एकता, 140 करोड़ भारतीयों की एकजुटता, हमारी सबसे बड़ी ताकत है। यही एकता, आतंकवाद के खिलाफ हमारी निर्णायक लड़ाई का आधार है। हमें देश के सामने आई इस चुनौती का सामना करने के लिए अपने संकल्पों को मजबूत करना है। हमें एक राष्ट्र के रूप में दृढ़ इच्छाशक्ति का प्रदर्शन करना है। आज दुनिया देख रही है, इस आतंकी हमले के बाद पूरा देश एक स्वर में बोल रहा है। उन्होंने कहा कि भारत के हम लोगों में जो आक्रोश है, वही आक्रोश पूरी दुनिया में है। इस आतंकी हमले के बाद लगातार दुनिया-भर से संवेदनाएं आ रही हैं। मुझे भी वैश्विक नेताओं ने फोन किए हैं, पत्र लिखे हैं, संदेश भेजे हैं। इस जघन्य तरीके से किए गए आतंकी हमले की सब ने कठोर ङ्क्षनदा की है। उन्होंने मृतकों के परिवारजनों के प्रति संवेदनाएं प्रकट की हैं। पूरा विश्व, आतंकवाद के खिलाफ हमारी लड़ाई में भारतीयों के साथ खड़ा है।
भारत अंतरिक्ष क्षेत्र में नई ऊंचाइयां छूएगा: मोदी
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रविवार को कहा कि आने वाला समय अंतरिक्ष के क्षेत्र में बहुत सारी नई संभावनाएं लेकर आ रहा है और भारत इस क्षेत्र में नई ऊंचाइयों को छूने वाला है। मोदी ने अपने मासिक कार्यक्रम मन की बात में आज महान वैज्ञानिक डॉ. के. कस्तूरीरंगन को श्रद्धांजलि अर्पित करते हुए कहा कि दो दिन पहले हमने देश के महान वैज्ञानिक डॉ. के. कस्तूरीरंगन को खो दिया है। उन्होंने कहा कि जब भी डॉ. कस्तूरीरंगनसे मुलाकात हुई, हम भारत के युवाओं के प्रतिभा, आधुनिक शिक्षा, अंतरिक्ष विज्ञान ऐसे विषयों पर काफी चर्चा करते थे। विज्ञान, शिक्षा और भारत के अंतरिक्ष कार्यक्रम को नई ऊंचाई देने में उनके योगदान को हमेशा याद किया जाएगा। उनके नेतृत्व में इसरो को एक नई पहचान मिली। उनके मार्गदर्शन में जो अंतरिक्ष कार्यक्रम आगे बढ़े, उससे भारत के प्रयासों को वैश्विक मान्यता मिली। उन्होंने कहा कि आज भारत जिन सैटेलाइट का उपयोग करता है, उनमें से कई डॉ. कस्तूरीरंगन की देखरेख में ही लांच की गई थी। उनके व्यक्तित्व की एक और बात बहुत खास थी, जिससे युवा-पीढ़ी उनसे सीख सकती है। उन्होंने हमेशा नवाचार को महत्व दिया। डॉ. के. कस्तूरीरंगन ने देश की नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति तैयार करने में भी बहुत बड़ी भूमिका निभाई थी। देश की नि:स्वार्थ सेवा और राष्ट्र निर्माण में उनके योगदान को हमेशा याद किया जाएगा।
उन्होंने कहा कि इसी महीने अप्रैल में आर्यभट्ट सैटेलाइट की लांचिंग के 50 वर्ष पूरे हुए हैं। उन्होंने कहा कि आज जब हम पीछे मुड़कर देखते हैं, 50 वर्षों की इस यात्रा को याद करते हैं, तो लगता है हमने कितनी लंबी दूरी तय की है। अंतरिक्ष में भारत के सपनों की ये उड़ान एक समय केवल हौंसलों से शुरू हुई थी। राष्ट्र के लिए कुछ कर गुजरने का जज्बा पाले कुछ युवा वैज्ञानिक उनके पास न तो आज जैसे आधुनिक संसाधन थे, न ही दुनिया की तकनीक तक वैसी पहुँच थी। अगर कुछ था तो वो था, प्रतिभा, लगन, मेहनत और देश के लिए कुछ करने का जज्बा। उन्होंने कहा कि आज भारत एक वैश्विक अंतरिक्ष शक्ति बन चुका है। हमने एक साथ104 सैटेलाइट लांच करके रिकॉर्ड बनाया है। हम चंद्रमा के साउथ पोल पर पहुँचने वाले पहले देश बने हैं।
प्रधानमंत्री ने कहा कि ''हम जब इसरो द्वारा किसी सैटेलाइट का लांच देखते हैं तो हम गर्व से भर जाते हैं। ऐसी ही अनुभूति मुझे तब हुई जब मैं 2014 में पीएसएलवी -सी -23 की लांङ्क्षचग का साक्षी बना था। 2019 में चंद्रयान -2 की लैंङ्क्षडग के दौरान भी, मैं बेंगलुरू के इसरो सेंटर में मौजूद था। उस समय चंद्रयान को वो अपेक्षित सफलता नहीं मिली थी, तब वैज्ञानिकों के लिए बहुत मुश्किल घड़ी थी। लेकिन मैं अपनी आंखों से वैज्ञानिकों के धैर्य और कुछ कर गुजरने का जज्बा भी देख रहा था। और कुछ साल बाद पूरी दुनिया ने भी देखा कैसे उन्हीं वैज्ञानिकों ने चंद्रयान -3 को सफल करके दिखाया।
उन्होंने कहा कि अब भारत ने अपने अंतरिक्ष क्षेत्र को निजी क्षेत्र के लिए भी खोल दिया है। आज बहुत से युवा अंतरिक्ष स्टार्टअप में नए झंडे लहरा रहे हैं। 10 साल पहले इस क्षेत्र में सिर्फ एक कंपनी थी, लेकिन आज देश में, सवा तीन सौ से ज्यादा स्पेस स्टार्टअप काम कर रहे हैं। आने वाला समय अंतरिक्ष में बहुत सारी नई संभावनाएं लेकर आ रहा है। भारत नई ऊंचाइयों को छूने वाला है। देश गगनयान, और चंद्रयान -4 जैसे कई अहम् मिशन की तैयारियों में जुटा है। हम वीनस ऑर्बिटल मिशन और मार्स मिशन पर भी काम कर रहे हैं। हमारे अंतरिक्ष वैज्ञानिक अपने नवाचार से देशवासियों को नए गर्व से भरने वाले हैं।

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