मोदी-योगी के राज्य में पेंच : केंद्र शासित प्रदेश नई दिल्ली सहित दस राज्यों में प्रदेश अध्यक्षों का ऐलान होना बाकी
बीजेपी को संसद के मानसून सत्र से पहले नया राष्ट्रीय अध्यक्ष मिलने की संभावना
बीजेपी ने अपने संगठन चुनाव को गति देते हुए पिछले एक हफ्ते में कई राज्यों के प्रदेश प्रमुखों का ऐलान कर दिया है।
अहमदाबाद। बीजेपी ने अपने संगठन चुनाव को गति देते हुए पिछले एक हफ्ते में कई राज्यों के प्रदेश प्रमुखों का ऐलान कर दिया है। ऐसे में उम्मीद जताई जा रही है कि बीजेपी को संसद के मानसून सत्र से पहले नया राष्ट्रीय अध्यक्ष मिल सकता है। बीजेपी ने पश्चिम बंगाल, मध्य प्रदेश, तेलंगाना, आंध्र प्रदेश, महाराष्ट्र, उत्तराखंड जैसे तमाम राज्यों में तस्वीर क्लिर कर दी है लेकिन पीएम मोदी के गृह राज्य गुजरात और योगी आदित्यनाथ के उत्तर प्रदेश में पेंच फंसा हुआ है। सूत्रों की मानें ज्यादा कठिनाई यूपी के अध्यक्ष में आ रही है। गुजरात में राह इतनी कठिन नहीं है। यहां समन्वय बनाना आसान है, हालांकि आसान होने के बाद भी नए अध्यक्ष के ऐलान नहीं होने से थोड़ी नेताओं में मायूसी है क्योंकि संगठन ढीला पड़ा हुआ है।
क्या ट्रेंड दिख रहा है ?
अभी तक बीजेपी ने राज्यों में जिस तरह के चेहरों को संगठन की कमान सौंपी है उससे लगता है कि पार्टी राष्ट्रीय अध्यक्ष के लिए बड़ा प्रयोग कर सकती है, हालांकि उत्तर प्रदेश में ओबीसी वोट छिटकने से बीजेपी चिंतित है। इसी प्रकार से गुजरात में ओबीसी वोट सर्वाधिक है। बीजेपी के अभी के अध्यक्ष मराठी हैं। ऐसे मे देखना होगा कि बीजेपी क्या जातीय समीकरण साधेगी? क्योंकि राज्य में आप ने अपना अभियान तेज कर दिया है। उम्मीद जताई जा रही है कि बीजेपी का अगला राष्ट्रीय अध्यक्ष संघ की पृष्ठभूमि वाला होगा। समिक भट्टाचार्य, हेमंत खंडेलवाल, महेंद्र भट्ट सभी संघ की भट्टी में तपकर निकले हैं। ऐसे में राष्ट्रीय अध्यक्ष को लेकर रोमांच बढ़ा हुआ है। गुजरात में चर्चा है कि हो सकता हो कि राष्ट्रीय अध्यक्ष के ऐलान के बाद गुजरात में प्रदेश अध्यक्ष की नियुक्ति हो। सूत्र यह भी संभावना व्यक्त कर रहे हैं कि गुजरात ही नहीं बल्कि यूपी में भी राष्ट्रीय अध्यक्ष चुनने के बाद प्रदेश अध्यक्ष नियुक्त करे। बीजेपी राष्ट्रीय अध्यक्ष चुनाव के लिए जरूरी कोरम पूरा कर लिया है। जो भी है लेकिन गुजरात पीएम मोदी और अमित शाह का गृह राज्य है। ऐसे में सभी की नजरें लगी हैं, क्योंकि राज्य में आगे साल नगर निगम और जिला पंचायत के चुनाव होंगे। इसके बाद 2027 में विधानसभा चुनाव होंगे।
इन राज्यों में ऐलान अभी बाकी :
पार्टी के सूत्रों के अनुसार दिल्ली, पंजाब, झारखंड, त्रिपुरा, ओडिशा और मणिपुर में संगठन चुनावों में अभी देरी होगी। गुजरात, हरियाणा, कर्नाटक और उत्तर प्रदेश में प्रदेश प्रमुख चुनने की प्रक्रिया चल रही है। ऐसे में ऐलान हो सकता है, लेकिन यूपी और गुजरात में पेंच फंसने की अटकलें लग रही हैं। ऐसे में बीजेपी ने आठ केंद्र शासित प्रदेशों में सात में ऐलान कर दिया है। दिल्ली में अभी वीरेंद्र सचदेवा पार्टी के प्रमुख है। राज्यों में कुल 28 राज्यों में नौ राज्य बाकी हैं। 19 में ऐलान हो चुका है।
तेलंगाना में दिखी नाराजगी :
तेलंगाना में फायरब्रांड नेता टी राजा सिंह के इस्तीफे को छोड़ दे तो अभी तक बीजेपी के संगठन चुनाव में कहीं कोई बगावत सामने नहीं आई है। राजा सिंह ने एम रामचंद्रर राव को बीजेपी की कमान दिए जाने के बाद पार्टी से इस्तीफा दे दिया है। तेलंगाना में अभी तक संगठन के बॉस जी किशन रेड्डी थे, हालांकि इसके बाद भी तेलंगाना में चुनाव निर्विरोध हुआ था। बाकी राज्यों में सर्वसम्मति से अध्यक्ष चुने गए हैं। ऐसे में पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष के चुनाव में सर्वसम्मति रहने की उम्मीद है।
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