एलन कोचिंग की दाल में काला, रेगुलर स्टूडेंट के रूप में कोटा और गाजियाबाद से एक साथ कैसे की पढ़ाई?

सांच को आंच नहीं, फिर जवाब क्यों नहीं दे रहा एलन प्रबंधन

एलन कोचिंग की दाल में काला, रेगुलर स्टूडेंट के रूप में कोटा और गाजियाबाद से एक साथ कैसे की पढ़ाई?

एलन कोचिंग संस्थान भ्रामक सूचनाएं प्रचारित कर देश भर से कोटा में कोचिंग के लिए आने वाले स्टूडेंट्स और उनके पैरेन्ट्स के सपनों से खेल रहा है। हाल ही जारी जेईई मेन -2 एक्जाम के रिजल्ट में भी ऐसी ही एक सूचना प्रचारित की जा रही है।

कोटा। एलन कोचिंग संस्थान भ्रामक सूचनाएं प्रचारित कर देश भर से कोटा में कोचिंग के लिए आने वाले स्टूडेंट्स और उनके पैरेन्ट्स के सपनों से खेल रहा है। हाल ही जारी जेईई मेन -2 एक्जाम के रिजल्ट में भी ऐसी ही एक सूचना प्रचारित की जा रही है। इसमें बताया जा रहा है कि जेईई मेन-2 एक्जाम 2023 में स्टूडेंट मलय केडिया ने एलन कोचिंग से क्लास रूम स्टूडेंट के रूप में कोचिंग ली और देश भर में चौथी रैंक हासिल की। केडिया ने परीक्षा में 300 में से 300 का परफेक्ट स्कोर हासिल किया। 

दूसरी तरफ  छात्र मलय केडिया का स्वयं कहना है कि उसने गाजियाबाद स्थित सेठ आनन्दराम जयपुरिया स्कूल से रेगुलर स्टूडेंट के रूप में 12 वीं के साथ जेईई मेन की तैयारी की। ऐसे में सवाल उठता है कि गाजियाबाद से रेगुलर स्टडी करने वाला छात्र कोटा में रहकर आफ लाइन सेन्टर से कैसे पढ़ सकता है। मलय ने ही नहीं उसके पिता ने भी नवज्योति से बातचीत में स्वयं कहा कि मलय की अब तक की शिक्षा गाजियाबाद से ही हुई है। वह तीन वर्ष पहले कक्षा 9 वीं के दौरान केवल वर्ष 2020 में कोटा आया था। वह भी ओलम्पियाड की तैयारी के लिए, जेईई की नहीं।  लेकिन कोटा आने के तुरन्त बाद मार्च माह में लॉकडाउन लगने से वह परेशान हो गया और दस पन्द्रह दिन में ही वापस अपने घर गाजियाबाद लौट गया। लॉकडाउन में वह इतना परेशान हो गया था कि उसने वापस कोटा आने से ही तौबा कर ली। ऐसे में आल इंडिया लेवल पर जेईई मेन में फोर्थ रैंक हासिल करने वाले स्टूडेंट मलय केडिया को एलन कोचिंग द्वारा अपने संस्थान का  स्टूडेंट बताने का दावा पूर्ण रूप से दाल में काला नजर आता है।

कोचिंग सेंटर ही नहीं तो एलन का स्टूडेंट कैसे?
मलय केडिया का कहना है कि उसने गाजियाबाद स्थित स्कूल से ही 12 वीं व जेईईमेन्स की तैयारी की है। सवाल उठता है कि जब एलन कोचिंग का गाजियाबाद में कोई सेन्टर ही नहीं था तो फिर मलय को कैसे क्लास रूम स्टूडेंट के रूप में एलन अपनी कोचिंग का स्टूडेंट बता रहा है। वास्तव में तो एलन कोचिंग संस्थान ने गाजियाबाद में अपना इंस्टीट्यूट ही एक अप्रेल 2023 में शुरू किया है। एलन कोचिंग ने वर्ष 2023 के अप्रेल माह में एक साथ दिल्ली एनसीआर में 11 आफ लाइन सेन्टर शुरू किए थे। इनमें ही गाजियाबाद ( वसुन्धरा ) का सेन्टर भी  शामिल है।

गाइड लाइन की उड़ रही धज्जियां
राज्य सरकार व हाईकोर्ट के निर्देश पर जिला प्रशासन द्वारा गठित कमेटी की गाइडलाइन की भी  एलन कोचिंग संस्थान धज्जियां उड़ा रहा है। गाइडलाइन के अनुसार कोई भी कोचिंग संस्थान भ्रामक सूचनाएं प्रकाशित नहीं कर सकता जिससे स्टूडेंट आकर्षित हों या अभिभावक प्रेरित हों। इसके बावजूद एलन संस्थान ऐसी सूचनाएं प्रकाशित कर अभिभावकों को प्रेरित कर स्टूडेंट के सपनों से खेल रहा है।   

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कोटा में पढ़े बिना टॉप फोर्थ रेंक
छात्र मलय केडिया ने स्वयं साक्षात्कार में कहा है कि उसके माता पिता का मानना था कि कोटा में रहकर ही जेईई मेन क्रेक की जा सकती है। वह मुझे कोटा भेजने के लिए दबाव भी बनाते रहे लेकिन में अपने निर्णय पर अड़ा रहा और कोटा नहीं गया। मैने गाजियाबाद के ही स्कूल में रहकर पूरी शिद्दत से तैयारी की और आॅल इंडिया में चौथी रेंक हासिल अपने निर्णय को सच कर दिखाया।

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स्टूडेंट आते हैं डिप्रेशन में 
भ्रामक सूचनाएं प्रचारित कर एलन संस्थान स्टूडेंट के बीच पढ़ाई की भारी स्पर्धा करवाता है। स्पर्धा में पीछे छूटने पर कई स्टूडेंट प्रेशर हेंंडल नहीं कर पाते और डिप्रेशन में आकर आत्महत्या जैसा कदम तक उठा लेते हैं। मलय केडिया ने स्वयं स्वीकार किया कि 2020 में कोटा आते ही लॉकडाउन लगने पर वह परिवार से दूर रहने का प्रेशर झेल नहीं सका।  उसके अभिभावकों की यह सोच थी कि कोटा में रहकर ही जेईई मेन क्रेक की जा सकती है। वह अपने निर्णय पर अटल रहा और गाजियाबाद में रहकर ही उसने स्कूल के साथ जेईई मेन की तैयारी की और सफल रहा।

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दाल में काला नहीं तो फिर जवाब क्यों नहीं?
मामले की सत्यता परखने दैनिक नवज्योति ने दो बार अपने प्रतिनिधि को एलन कोचिंग संस्थान भेजा। प्रबंधन को लिखित में दिया, कई बार मोबाइल मैसेज किया। जवाब के लिए 15 दिन का समय दिया। इसके बावजूद प्रबंधन ने कोई जानकारी नहीं दी। ऐसे में यह पूरा मामला दाल में काला नजर आता है।

अगर ऐसा कोई मामला संज्ञान में आता है तो हम प्रशासन की ओर से गठित कमेटी को भेज कर जांच करवाएंगे। मामला सही पाया गया तो इस संबंध में उचित कार्रवाई करेंगे। 
-ओपी बुनकर, जिला कलक्टर कोटा 

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