एमएमआर टीके वापस शुरू करें तो बच सकते हैं मंप्स से
सरकार के टीका बंद करने से बड़ी मरीजों की संख्या
वर्ष 2019 में सरकार ने राष्ट्रीय टीकाकरण की सूची में एमएमआर टीके में से एक एम यानी मंप्स को बाहर कर दिया था।
कोटा। कोटा सहित पूरे देश में मंप्स के मरीजों की संख्या लगातार सामने आ रही है जिसमें छोटे बच्चों से लेकर बड़ों तक को बीमारी अपनी चपेट में ले रही है। वहीं डॉक्टरों के मुताबिक इस बीमारी का कोई ठोस इलाज नहीं है। ये अपने आप होकर खुद से ही ठीक हो जाती है। इसके अलावा इस बीमारी की रोकथाम के लिए सरकार द्वारा पोलियो अभियान के तहत बच्चों को एमएमआर के टीके लगवाए जाते थे। जिसमें एमएमआर का मतलब मिजल्स, मंप्स और रूबेला है। लेकिन कुछ साल पहले सरकार ने मंप्स को गंभीर बीमारी की श्रेणी से बाहर रखते हुए इसके टीके लगाना बंद कर दिया था जिसके कारण ये बीमारी नए रूप में लोगों को अपना शिकार बना रही है।
मंप्स के लिए टीका ही इलाज
मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी जगदीश सोनी ने बताया कि मेडिकल क्षेत्र में मंप्स की बीमारी के लिए कोई ठोस इलाज नहीं है । इस बीमारी से बचने के लिए कोरोना वायरस की तरह ही सावधानियां बरतने की आवश्यकता होती है इसके अलावा ये छींकते और खांसते समय भी फैल सकता है। इसमें दूरी बनाने की जरूरत होती है। पुख्ता इलाज नहीं होने के चलते इस बीमारी का एकमात्र इलाज वैक्सीन है क्योंकि ये बीमारी स्वत: ही होती है और ठीक भी स्वत: ही होती है। लेकिन अगर ये शरीर में ज्यादा दिन रूक जाए तो इसके घातक परिणाम हो सकते हैं। ऐसे में नए परिजन अपने बच्चों को एमएमआर का टीका लगवा लें तो बेहतर होगा।
टीका क्यों बंद किया सरकार ने
दरअसल वर्ष 2019 में सरकार ने राष्टÑीय टीकाकरण की सूची में एमएमआर टीके में से एक एम यानी मंप्स को बाहर कर दिया था। क्योंकि सरकार के अनुसार इस बीमारी के घातक परिणाम सामने नहीं आने से टीकाकरण पर फिजूलखर्ची हो रही थी ऐसे में सरकार ने टीकाकरण को रीव्यू करते हुए मंप्स को लिस्ट से हटा दिया था। लेकिन हटाने के मात्र 5 वर्ष बाद ही इस वायरस ने अपने रंग दिखाने शुरू कर दिए और बच्चों से लेकर बड़ों तक को अपनी चपेट में लेना शुरू कर दिया।
पून: चालू करने पर सरकार कर रही विचार
पिछले कुछ महीनों में पंप्स के बढ़ते मामलों पर संज्ञान लेते हुए केंद्र सरकार ने गाइडलाइन जारी की थी जिसमें लोगों से एतिहात बरतने के साथ एमएमआर टीका लगवाने का भी सुझाव दिया था। ऐसे में मंप्स की मरीजों की बढ़ती हुई संख्या को देखते हुए सरकार फिर से एमएमआर टीके को टीकाकरण अभियान में शामिल करने का विचार कर रही है।
- डा. राज कुमार जैन, ईएनटी विभागाध्यक्ष
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