काव्य रंग 2024 में कवियों ने बांधा समां 

काव्य रंग 2024 में कवियों ने बांधा समां 

लालसोट उपखंड मुख्यालय पर स्व. मूलचंद मीना शिक्षक प्रशिक्षण महाविद्यालय में कॉलेज निदेशक सतपाल मीना की अध्यक्षता में हिन्दी दिवस सप्ताह के अंतर्गत काव्यरंग महोत्सव 2024 का आयोजन हुआ।

दौसा। लालसोट उपखंड मुख्यालय पर स्व. मूलचंद मीना शिक्षक प्रशिक्षण महाविद्यालय में कॉलेज निदेशक सतपाल मीना की अध्यक्षता में हिन्दी दिवस सप्ताह के अंतर्गत काव्यरंग महोत्सव 2024 का आयोजन हुआ। जिसमें कवियों की एक से बढ़कर एक बेहतरीन प्रस्तुतियों ने महाविद्यालय के छात्रों एवं शिक्षकों को पूरी तरह साहित्य के रंग में रंग दिया। लालसोट का परचम देश भर में लहरा रहे विख्यात युवा कवि अनुराग प्रेमी ने इस काव्य महोत्सव का बेहतरीन संचालन करते हुए हास्य और व्यंग्यों से श्रोताओं की जमकर तालियां बटोरी। उनके द्वारा पेश की गई हास्य कविता "लड़की पसंद करने जाता हूं और लड़की की मां पसंद आ जाती है" ने श्रोताओं को मंत्रमुग्ध कर दिया वहीं "हिन्दी तुझे सलाम" कविता पढ़ कर मां हिंदी का महत्व बताया। कोटपूतली से आए तीखे तेवरों वाले युवा शायर अनिल आज़ाद ने "यूं ऊदास ना हो मेरी मां, कुछ दिन की बात है, तेरे बेटे ने दुनिया नहीं,सिर्फ घर छोड़ा है " जैसी शायरियों से उत्साह का जो बेहद खूबसूरत माहौल तैयार किया उसे अंजाम तक पहुंचाया महवा से चलकर आए कवि करण केसरा ने। वीर रस के ओजस्वी कवि करण केसरा ने अपने जोशीले अंदाज में युवाओं को प्रेरित करने वाले मुक्तकों के साथ साथ "हिंदू हो या मुस्लिम हो, हर भारतवासी अपना है" पढ़कर सीमा पर पहरा दे रहे सैनिकों को याद किया एवं "राम को यूं ना बांटो तुम " जैसी कविता के माध्यम से राजनीति और रामनीति के संबंध को उजागर किया। इस कार्यक्रम के मुख्य आकर्षण बस्सी जयपुर से पधारे बालकवि आरव कौशिक रहे,जिन्होंने पहले से गरम सेमिनार हॉल को अपनी जोशीली आवाज के जादू से उपस्थित श्रोताओं को झूमने पर मजबूर कर दिया। आरव कौशिक की हर एक प्रस्तुति पर उन्हें भरपूर प्यार और सम्मान मिला। खासकर " अभी मेरे बाप का भी बाप ज़िंदा है " और "राम क्यों पूजे जाते हैं " जैसी काव्य रचनाओं ने शमां बांध दिया।काव्यपाठ के अंत में देश के सुप्रसिद्ध सोनी टीवी परफोर्मर मिमिक्री स्टार अशोक खेड़ला ने विभिन्न तरह की आवाजें निकालकर अपनी मिमिक्री कला का कौशल दिखाया। वैसे तो उनकी हर प्रस्तुति शानदार रही लेकिन घुंघरू और रेलगाड़ी स्टार्ट से लेकर गति पकड़ने तक की जो मिमिक्री की थी, उससे पूरा सेमिनार हॉल तालियों की गड़गड़ाहट से गूंज उठा। इस बेहतरीन आयोजन को महाविद्यालय प्रशासन के कुशल प्रबंधन में संपन्न करवाया गया। कार्यक्रम के अंत में उपस्थित कविगणों का महाविद्यालय के प्राचार्य डॉ. हनुमान शर्मा ने स्मृति चिह्न एवं प्रशस्ति-पत्र भेंट कर सम्मान किया गया। इस दौरान महाविद्यालय के समस्त शिक्षकगण भी मौजूद रहे।

Post Comment

Comment List

Latest News

एसआईआर को लेकर अखिलेश ने केंद्र सरकार पर उठाए सवाल, बोलें-चुनावी गणित होगा प्रभावित एसआईआर को लेकर अखिलेश ने केंद्र सरकार पर उठाए सवाल, बोलें-चुनावी गणित होगा प्रभावित
यूपी में मतदाता सूची के विशेष गहन पुनरीक्षण को लेकर सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने सरकार पर निशाना साधा। उन्होंने...
मेले में दिखा कला, संस्कृति और सामुदायिक उत्सव का संगम, ग्रेट हार्ट आश्रम से आए 150 बच्चों ने आयोजन में लिया भाग
रघु सिन्हा आईटीएफ मास्टर्स टेनिस प्रतियोगिता सम्पन्न, रियाज और विभा ने जीते तिहरे खिताब
दिल्ली-NCR में 40 उड़ानें रद्द, 4 डायवर्ट, AQI 466 तक पहुंचा
उर्स की तैयारियां तेज : जगमगाया दरगाह परिसर पुनर्निमित सबीली गेट से आवाजाही शुरू, उर्स का झंडा 17 को चढ़ेगा
जानें राज काज में क्या है खास 
आखिर क्यों अजित पवार ने फिर बनाई आरएसएस से दूरी? सामने आई चौकाने वाली वजह