टीटीपी के बाद पाकिस्तान में नए आतंकी संगठन का जन्म, हरकत इंकलाब इस्लामी पाकिस्तान रखा नाम
वीडियो जारी करते हुए आईआईपी ने अपने गठन की घोषणा की
पाकिस्तान में एक नए आतंकवादी समूह की स्थापना की घोषणा की की गई है। इसका नाम हरकत इंकलाब इस्लामी पाकिस्तान यानि आईआईपी रखा गया है
इस्लामाबाद। पाकिस्तान में एक नए आतंकवादी समूह की स्थापना की घोषणा की की गई है। इसका नाम हरकत इंकलाब इस्लामी पाकिस्तान यानि आईआईपी रखा गया है। एक वीडियो जारी करते हुए आईआईपी ने अपने गठन की घोषणा की है। ये वीडियो ऊर्दू और पश्तो भाषा में है, जिसमें आईआईपी ने पाकिस्तान को अपना अखाड़ा बनाने की घोषणा की है। इसने कहा है कि ये पाकिस्तान से ऑपरेट होगा और इसके निशान पर पाकिस्तान की सेना होगी। इसने पाकिस्तान की सेना को अपना मुख्य लक्ष्य कहा है। आईआईपी ने कहा है कि उसका मकसद पूरे पाकिस्तान में शरिया आधारित सख्त इस्लामी शासन की स्थापना करना है।
रिपोर्ट के मुताबिक आईआईपी के नेता की पहचान गाजी शहाबुद्दीन के रूप में की गई है। वीडियो में आधुनिक हथियारों के साथ दर्जनों आतंकवादियों को देखा जा रहा है, जिसके बीच में खड़ा होकर गाजी शहाबुद्दीन अपने इरादों की घोषणा करता है। इस घोषणा के दौरान गाजी शहाबुद्दीन ने समूह के लक्ष्यों और घोषणापत्र के बारे में बताया है। इसने अपने घोषित लक्ष्यों को हासिल करने के लिए पाकिस्तान में अन्य आतंकवादी समूहों के साथ सहयोग करने का इरादा जताया है। यानि आईआईपी आगे जाकर पाकिस्तान में मौजूद अन्य आतंकवादी संगठनों के साथ गठबंधन कर सकता है।
पाकिस्तान में बना नया आतंकवादी संगठन
हालांकि, पाकिस्तान में पहले से ही दर्जनों आतंकवादी संगठन आॅपरेट होते हैं, जिनमें ज्यादातर भारत के खिलाफ काम करते रहे हैं। लेकिन कई ऐसे आतंकवादी संगठन भी बने हैं, जो पाकिस्तान की सरकार के खिलाफ जंग का ऐलान कर चुके हैं। जिनमें तहरीक-ए-तालिबान पाकिस्तान यानि टीटीपी काफी कुख्यात है। टीटीपी का मकसद भी पाकिस्तान को इस्लामिक अमीरात बनाने की है। टीटीपी सिर्फ इसलिए लोगों के खून बहाता है ताकि पाकिस्तान में शरीयत आधारित कानून की स्थापना कर सके। टीटीपी का कहना है कि वो पाकिस्तान में ठीक उसी तरह का कानून लागू करना चाहता है, जैसा कानून तालिबान ने अफगानिस्तान में बनाया हुआ है।
फिलहाल ये साफ नहीं हो पाया है कि इस आतंकवादी संगठन में कितने लड़ाके हैं, क्या ये किसी आतंकी संगठन से टूटकर बना है या फिर पाकिस्तान के साथ इसकी क्या दुश्मनी है। जो वीडियो जारी किया गया है वो करीब 7 मिनट का है और वीडियो में दिख रहे लोगों के हाथों में उसी तरह का झंडा दिख रहा है, जैसा झंडा अफगान तालिबान इस्तेमाल करता है। लेकिन अभी तक पता नहीं चल पाया है कि दोनों झंडों में क्या अंतर है या क्या ये संगठन अफगान तालिबान से बाहर निकला या फिर दोनों में कुछ संबंध हैं या नहीं। पाकिस्तान पहले से ही बलूचिस्तान लिबरेशन आर्मी और टीटीपी के आतंक से जूझ रहा है, लिहाजा देखने होगा कि ये आतंकी संगठन पाकिस्तान को कितना नुकसान पहुंचाता है।
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