एमओयू के दो माह बाद भी एयरपोर्ट की जमीन से शिफ्ट नहीं हुई हाईटेंशन लाइनें

डीपीआर बनने के बाद ढाई साल लगेंगे एयरपोर्ट तैयार होने में

एमओयू के दो माह बाद भी एयरपोर्ट की जमीन से शिफ्ट नहीं हुई हाईटेंशन लाइनें

इसके होने के बाद ही लाइनों को शिफ्ट किया जाएगा। लेकिन अभी तक यह काम पूरा नहीं हो सका है।

कोटा। शहर से करीब 15 कि.मी. दूर  बूंदी जिले में शम्भूपुरा में प्रस्तावित ग्रीन फील्ड एयरपोर्ट के लिए त्रिपक्षीय एमओयू होने के दो माह बाद भी अभी तक  एयरपोर्ट की जमीन से हाई टेंशन लाइनें शिफ्ट नहीं हुई है। जबकि लाइन शिफ्ट करने के लिए निर्धारित राशि भी जमा करवा दी गई है। मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा की अध्यक्षता में 19 जुलाई को जयपुर में बैठक हुई थी। जिसमें भारतीय विमानपतन प्राधिकरण,नागरिक उड्डयन विभाग, नगरीय विकास एवं आवासन विभाग के बीच एमओयू पर हस्ताक्षर हो गए थे। इस एमओयू के तहत एयरपोर्ट के लिए राज्य सरकार नि:शुल्क जमीन आवंटित करेगी। वहीं एयरपोर्ट के निर्माण, विकास व संचालन की सम्पूर्ण जिम्मेदारी  भारतीय विमान पतन प्राधिकरण की रहेगी। इसी दौरान एयरपोर्ट की प्रस्तावित भूमि से पीसीसीआईएल की 400 केवी की हाइटेंशन लाइनों को शिफ्टििंग से संबंधित कार्यवाही की गई। साथ ही राशि भी उपलब्ध करवा दी गई थी।  जानकारी के अनुसार कोटा विकास प्राधिकण के स्तर पर वन विभाग को भूमि के डायवर्जन से संबंधित राशि जमा करवा दी गई है। साथ ही पावरग्रिड की लाइनों को शिफ्ट करने संबंधी राशि भी जमा करवा दी गई है। लेकिन जिस नई जगह पर उन लाइनों को शिफ्ट किया जाना है। उसके लिए एमओयू होना शेष है। इसके होने के बाद ही लाइनों को शिफ्ट किया जाएगा। लेकिन अभी तक यह काम पूरा नहीं हो सका है। 

12 सौ करोड़ से होगा निर्माण
शम्भूपुरा में करीब 440.089 हैक्टेयर भूमि  पर एयरपोर्ट का निर्माण किया जाएगा। यह भूमि केडीए की परिधि सीमा में राजस्व ग्राम तुलसी, कैथूदा,बालापुरा व देवरिया में है। इसमें से 406.678 हैक्टेयर वन भूमि है। जबकि मात्र 33.408 हैक्टेयर भूमि कोटा विकास प्राधिकरण के स्वामित्व में है। ऐसे में वन विभाग की भूमि के डायवर्जन में समय अधिक लगा। लेकिन अब उसकी प्रक्रिया भी पूरी कर ली गई है। अधिकारियों के अनुसार ग्रीन फील्ड एयरपोर्ट के निर्माण में करीब 12 सौ करोड़ रुपए की लागत आने का अनुमान है। 

रनवे की बढ़ाई लम्बाई
एयरपोर्ट अधिकारियों के अनुसार प्रस्तावित एयरपोर्ट पर पहले जहां रनवे की लम्बाई 2.8 कि.मी. तय की गई थी। उसे अब बढ़ाकर 3.5 कि.मी. किया गया है। जिससे यहां 150 से 200 यात्रियों की क्षमता वाले बड़े विमान भी उतर सकेंगे। 

काम शुरु होने के बाद दो साल का समय
अधिकारियों ने बताया कि एयरपोर्ट के लिए डीपीआर बनाने का काम किया जा रहा है। उसके शीघ्र ही पूरा होने की संभावना है। डीपीआर तैयार होने व हाइटेंशन लाइनें शिफ्ट होने के बाद जब भी एयरपोर्ट का काम शुरु होगा। उसके दो से ढाई साल में एयरपोर्ट तैयार होने की संभावना जताई जा रही है। 

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शम्भूपुरा में प्रस्तावित ग्रीन फील्ड एयरपोर्ट से संबंधित केडीए के स्तर पर जो राशि जमा करवानी थी वह करवा दी गई है। अब जमीन से हाइटेंशन लाइनों को शिफ्ट करने संबंधी कार्यवाही की जानी है। उसकी प्रक्रिया चल रही है। प्रक्रिया पूरी होने के बाद लाइनें शिफ्ट होने पर ही निर्माण संबंधी कार्यवाही आगे बढ़ सकेगी। 
 -कुशल कोठारी, सचिव कोटा विकास प्राधिकरण

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