माशिबो बोर्ड परीक्षाएं कल से : प्रश्नपत्र सुरक्षा और गोपनीयता अधिकारियों की जिम्मेदारी
कॉर्डिनेटर द्वारा प्रश्नपत्र वितरण की व्यवस्थाओं का निरीक्षण
नोडल व एकल केन्द्र जहां पर प्रश्नपत्र रखे हैं, वहां से पेपर कॉर्डिनेटर द्वारा प्रश्नपत्र वितरण की व्यवस्थाओं का निरीक्षण किया जाए।
अजमेर। राजस्थान माध्यमिक शिक्षा बोर्ड की 6 मार्च से प्रारम्भ होने वाली बोर्ड परीक्षाओं के संचालन के लिए बोर्ड सभागार में उड़नदस्तों के संयोजकों की कार्यशाला आयोजित की गई। इसमें बोर्ड प्रशासक एवं संभागीय आयुक्त महेश चन्द्र शर्मा ने संयोजकों को उनकी भूमिका के बारे में विस्तार से जानकारी दी। बोर्ड सचिव कैलाश चन्द्र शर्मा ने कहा कि परीक्षा में प्रश्नपत्रों की सुरक्षा और गोपनीयता सुनिश्चित करना सभी संबंधित अधिकारियों की प्राथमिक जिम्मेदारी है। प्रश्नपत्रों को निर्धारित समय पर खोलने, संग्रहण केन्द्रों पर सुरक्षित रखने और उन्हें नोडल व एकल केन्द्रों तक सही तरीके से पहुंचाने की समुचित व्यवस्था का भी उड़नदस्ते जायजा लें। परीक्षा केन्द्रों के निरीक्षण के दौरान अवांछनीय गतिविधि मिलने और नकल की सूचना पाने पर त्वरित कार्यवाही करें। बोर्ड सचिव ने उड़नदस्तों को प्रतिदिन परीक्षा संबंधित विभिन्न व्यवस्थाओं के साथ सामान्य रूप से 4 से 5 परीक्षा केन्द्रों का नियमित रूप से निरीक्षण करने के निर्देश दिए। परीक्षा प्रारम्भ होने से 45 मिनट पूर्व एक परीक्षा केन्द्र पर प्रश्नपत्र खोलने, विवरण व अन्य व्यवस्थाओं का भी निरीक्षण किया जाए।
नोडल व एकल केन्द्र जहां पर प्रश्नपत्र रखे हैं, वहां से पेपर कॉर्डिनेटर द्वारा प्रश्नपत्र वितरण की व्यवस्थाओं का निरीक्षण किया जाए। उड़नदस्ते की कार्य अवधि 6 मार्च से 9 अप्रैल तक परीक्षा सम्पन्न होने तक रहेगी। कार्यशाला में बोर्ड अधिकारियों ने उड़नदस्तों के संयोजकों को उनके दायित्वों एवं परीक्षा प्रक्रिया की बारीकियों से अवगत कराया। इस दौरान प्रश्नोत्तरी सत्र भी आयोजित किया गया। इसमें संयोजकों ने परीक्षा से जुड़ी विभिन्न जिज्ञासाओं का समाधान प्राप्त किया।
-प्रदेशभर में 63 उड़नदस्ते नियुक्त
बोर्ड परीक्षा के लिए राज्यभर में 63 उड़नदस्ते नियुक्त किए गए हैं। ये दस्ते परीक्षा केन्द्रों का औचक निरीक्षण कर अनुशासन व गोपनीयता बनाए रखेंगे। बोर्ड प्रशासन ने सभी उड़नदस्तों को सख्ती से निर्देश दिए हैं कि वे परीक्षा के दौरान उच्चतम सतर्कता और निष्पक्षता बरतें। इससे परीक्षा प्रणाली की विश्वसनीयता एवं गरिमा बनी रहेगी। बोर्ड द्वारा प्राप्त फॉर्मेट की पूर्तियों की दैनिक रिपोर्ट आवश्यक रूप से ई-मेल पर प्रेषित करनी होगी। निरीक्षण से पूर्व योजनाबद्ध तरीके से रूट चार्ट बनाकर सम्पादित करें।
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