राज्य सरकार जनजाति क्षेत्र के विकास के लिए कृत संकल्पित : भजनलाल
आसपुर में जाम्बुखंड भैरव मंदिर का जीर्णोद्धार महोत्सव
युवाओं से लगन और मेहनत के साथ तैयारी के साथ सकारात्मक सोच से आगे बढ़ने का आह्वान
डूंगरपुर। मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा रविवार को जिले की पंचायत समिति आसपुर के खेरमाल गांव स्थित स्वयंभू श्री जाम्बुखंड भैरव मंदिर जीर्णोद्धार महोत्सव में सम्मिलित हुए। उन्होेंने भैरव के दर्शन कर तथा धूणी पर पूजा अर्चना कर प्रदेश में सुख, शांति, समृद्धि और खुशहाली की कामना की। दर्शन के बाद वे सभा स्थल पर पहुंचे। कार्यक्रम को संबोधित करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि सरकार युवाओं को रोजगार देने के अपने संकल्प को पूरी प्रतिबद्धता के साथ पूर्ण कर रही है। राज्य सरकार की ओर से पूरे वर्ष का कैलेंडर जारी किया गया है, सही समय पर पूर्ण पारदर्शिता के साथ परीक्षाओं का आयोजन कर समयबद्ध तरीके से रोजगार दिया जा रहा है। उन्होंने युवाओं से पूरी लगन और मेहनत के साथ तैयारी करने तथा सकारात्मक सोच से आगे बढ़ने का आह्वान किया। राज्य सरकार जनजाति क्षेत्र के विकास के लिए कृत संकल्पित है और बजट में पर्यटन से लेकर, सड़कों, निर्माण कार्यों, शिक्षा, कृषि हर वर्ग हर क्षेत्र के विकास को दृष्टिगत रखते हुए जनजाति क्षेत्र के विकास के लिए सौगातें दी है। उन्होंने कहा कि राजस्थान सरकार ने जनजाति आस्था के केंद्रों को पर्यटन सर्किट के रूप में विकसित करने की पहल की है तथा ऋषभदेव, बेणेश्वर धाम, त्रिपुरा सुंदरी, गौतमेश्वर से लेकर आस्था के केंद्रों को सम्मिलित कर इनके विकास के लिए बजट घोषणा की गई है। इसके साथ ही आदिवासी संस्कृति संरक्षण के लिए जनजाति नायकों श्री बांसिया भील, श्री डूंगर बरंडा, शहीद वीर बाला काली बाई के स्मारक बनाने की घोषणा की गई है, जिससे कि आने वाली पीढ़ी संस्कृति से रूबरू हो सकें।
विकास और विरासत संरक्षण साथ साथ चलेंगे
उन्होंने कहा कि जनजाति बच्चों को गुणवत्तापूर्ण शिक्षा के लिए सरकार कटिबद्ध है। इस हेतु छात्रावास में अध्यनरत बच्चों, खिलाड़ियों के भत्तों में वृद्धि की गई है। साथ ही नए मां बाड़ी केंद्र स्वीकृत किए गए हैं, वन धन केंद्रों का गठन किया गया है। इसके साथ ही डूंगरपुर में रिंग रोड का निर्माण, महाविद्यालय भवन का निर्माण, महाविद्यालय स्तरीय बालिका छात्रावास, मोरन नदी पुनर्जीवित, सीमलवाडा में कृषि उपज मंडी खोलना बजट घोषणाओं के माध्यम से क्षेत्र के विकास के लिए पूरे प्रयास किया जा रहे हैं। राज्य में विकास और विरासत का संरक्षण दोनों साथ-साथ होने वाले हैं। हमारी संस्कृति की गौरव मयी परंपराओं और विरासत को सहेजना भी हमारा कर्तव्य है, ऐसे में विकास और विरासत संरक्षण दोनों साथ-साथ चलने वाले हैं। अपने उद्बोधन में उन्होंने सर्वप्रथम भक्त शिरोमणि मीराबाई, संत मावजी महाराज, तथा वागड़ भूमि के समस्त संतों और तपस्वियों को नमन करते कहा कि यह भूमि आस्था, संस्कृति और संतों की भूमि है, ऐसी भूमि को मेरा प्रणाम है।
यह रहे मंचासीन
पीठाधीश्वर बेणेश्वर धाम साबला हरि मंदिर महंत श्री अच्युतानंद महाराज, राज्यसभा सांसद चुन्नीलाल गरासिया, उदयपुर सांसद मन्नालाल रावत, जनजाति क्षेत्रीय विकास विभाग मंत्री बाबूलाल खराड़ी, विधायक सागवाड़ा शंकर डेचा, विधायक निंबाहेड़ा श्रीचंद कृपलानी, विधायक वल्लभनगर उदय लाल डांगी, विधायक सलूंबर शांता मीणा, पूर्व राज्यसभा सांसद श्री हर्षवर्धन सिंह,पूर्व सांसद कनकमल कटारा, पूर्व राज्य मंत्री सुशील कटारा, पूर्व विधायक गोपीचंद मीणा, जिला प्रमुख श्रीमती सूर्या अहारी, समाजसेवी अशोक पटेल, हरीश पाटीदार, प्रभु पंडया, वेलजी भाई पाटीदार, गुरु प्रसाद पटेल, नगर परिषद सभापति अमृतलाल कलासुआ, उपसभापति सुदर्शन जैन, समाज बंशीलाल कटारा,लालजी भाई, पूर्व जिला प्रमुख प्रेम कुमार पाटीदार, सुरेंद्र सिंह चौहान, महेंद्र उपाध्याय, वासुदेव भगत, गोकुल, सहित गणमान्य जनप्रतिनिधि मंचासीन रहे।
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