स्थगन प्रस्ताव के माध्यम से शुन्यकाल में उठा नोखा स्कूल की बच्चियों की अकाल मौत का मामला
दुघर्टना घटी और तीन बच्चियों की जान चली गई
स्कूल में बना पानी का टांका जर्जर अवस्था में और कभी भी यहां बड़ी दुर्घटना घट सकती है तथा जिसका अंदेशा था, वहीं हुआ।
जयपुर। नेता प्रतिपक्ष टीकाराम जूली ने विधानसभा में शून्यकाल के दौरान नोखा विधायक सुशीला रामेश्वर डूडी के साथ स्थगन प्रस्ताव के माध्यम से बीकानेर जिले के नोखा क्षेत्र में स्थित राजकीय प्राथमिक विद्यालय देवानाड़ा, केड़ली के जर्जर वाटर टैंक के ऊपर खेल रही बच्चियों की पट्टियां टूट जाने के कारण जलकुंड में गिरने से हुई तीन मासूम बच्चियों की अकाल मौत के प्रकरण को उठाया। जूली ने कहा कि एक लचर सिस्टम और सिस्टम की लापरवाही ने तीन मासूम बच्चियों की जान ले ली। स्कूल की तरफ से उच्च अधिकारियों के संज्ञान में यह ला दिया गया था कि स्कूल में बना पानी का टांका जर्जर अवस्था में और कभी भी यहां बड़ी दुर्घटना घट सकती है तथा जिसका अंदेशा था, वहीं हुआ।
दुघर्टना घटी और तीन बच्चियों की जान चली गई। पिछले तीन दिनों से बच्चियों के अभिभावक ही नहीं सारे इलाके के लोग बच्चियों के शव को लेकर धरने पर बैठे हैं, लेकिन यह सरकार जो कि भाषण देने में आगे रहती है, तीन दिन इस दुखद घटना की जिम्मेदारी तय करने से बच रही हैं। जूली ने कहा कि तीन दिन से सरकार उन परिवारों को न मुआवजा देने की व्यवस्था की, न दोषी लोगों के विरूद्ध कार्रवाई करने की बात की और ना ही उनके परिवार को नौकरी देने की बात की। जूली ने आसन से यह मांग की कि आप सरकार को निर्देशित करें कि वह मृतक बालिकाओं के अभिभावकों को मुआवजा, उनके परिवारों को नौकरी दे और दोषी अधिकारियों के विरूद्ध कार्रवाई करें।
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