उत्तर पश्चिम रेलवे ने किया 27.46 मिलियन टन माल लदान, यात्री ट्रेनों के समयपालन में सम्पूर्ण भारतीय रेलवे पर दूसरे स्थान पर कायम
7278.02 करोड़ रुपए का राजस्व प्राप्त किया
उत्तर पश्चिम रेलवे यात्रियों को समयबद्ध और संरक्षित यात्रा करवाने के लिए प्रतिबद्ध है।
जयपुर। उत्तर पश्चिम रेलवे ने वर्ष 2024 में माल लदान में किए गए अभिनव प्रयासों से उत्तर पश्चिम रेलवे ने इतिहास रचते हुये 2024 में 27 मिलियन टन के आकडे को पार किया । उत्तर पश्चिम रेलवे ने माल लदान, यात्री आय व अन्य आय को मिला कर 2024 में कुल 7278.02 करोड़ रुपए का राजस्व प्राप्त किया है। इसके साथ ही उत्तर पश्चिम रेलवे यात्रियों को समयबद्ध और संरक्षित यात्रा करवाने के लिए प्रतिबद्ध है। उत्तर पश्चिम रेलवे इस वर्ष 91.98 प्रतिशत समयपालन को प्राप्त कर सम्पूर्ण भारतीय रेलवे में दूसरे स्थान पर कायम है।
उत्तर पश्चिम रेलवे ने इस वर्ष 27 मिलियन टन का माल लदान किया है।, जिससे कुल 3400 करोड़ रुपए का राजस्व प्राप्त हुआ है। उत्तर पश्चिम रेलवे पर निरन्तरता के साथ माल लदान में अभिनव प्रयोग किये जा रहे हैं। उत्तर पश्चिम रेलवे पर मुख्यालय एवं मंडलों में गठित बिजनेस डेवलपमेंट यूनिट के अभिनव प्रयासों से भी माल लदान को बढ़ावा मिल रहा है। माल लदान को बढ़ावा देने के उद्देश्य से लदान को सुगम बनाने के लिये गति शक्ति टर्मिनल स्थापित किए गए है। इसके अतिरिक्त पार्सल सेवा को बेहतर बनाने के लिये रेलवे और डाक विभाग की ज्वाइंट पार्सल प्रोडेक्ट कार्गों सर्विस योजना प्रारम्भ की गई है।
उत्तर पश्चिम रेलवे पर यात्री ट्रेनों के संचालन एवं समयपालन पर उत्तर पश्चिम रेलवे पर विशेष ध्यान केन्द्रित किया गया है। उत्तर पश्चिम रेलवे इस वर्ष 91.54 प्रतिशत के समयपालन को प्राप्त कर सम्पूर्ण भारतीय रेलवे पर दूसरे स्थान पर कायम है। उत्तर पश्चिम रेलवे पर हो रहे दोहरीकरण, स्थाई गति प्रतिबंधों को समाप्त करना एवं नियमित मॉनिटरिंग द्वारा समयपालन में यह मुकाम प्राप्त किया है। यात्रियों की सुविधाओं को देखते हुए रेलवे द्वारा समय-समय पर अतिरिक्त ट्रेनों का संचालन किया गया तथा त्यौहारों एवं विशेष अवसरों पर विभिन्न श्रेणीयो के डिब्बों में भी बढ़ोतरी की गई।
साथ ही रेल परिसरों में अनुपयोगी तथा व्यर्थ पडे कबाड़ (स्क्रैप) के निस्तारण करने के लिए अनेक कार्य किये जा रहे हैं, जिससे इनके हटने से सुरक्षा में वृद्धि होने के साथ-साथ परिसरों में स्वच्छता को भी सुनिश्चित किया जा सकें। कबाड़ निस्तारण के लिए भंडार विभाग मिशन जीरो स्क्रैप अभियान के तहत रेलवे स्टेशनों, रेलखण्ड, डिपो, वर्कशॉप, शेड, तथा रेलवे परिसरों को कबाड़ मुक्त करने के लिए विशेष प्रयास किये जा रहे हैं। उत्तर पश्चिम रेलवे ने 2024 में अनुपयोगी तथा व्यर्थ पड़े कबाड (स्क्रैप) को बेचकर अतिरिक्त आय का अर्जन किया है।
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