चौमहला से मजदूर पलायन को मजबूर, सरकार से उद्योग लगाने की आस

बड़ी इंडस्ट्री की कमी

चौमहला से मजदूर पलायन को मजबूर, सरकार से उद्योग लगाने की आस

रेल और सड़क कनेक्टिविटी होने के बाद भी युवा बेरोजगार।

चौमहला। गंगधार उपखंड क्षेत्र की प्रमुख व्यापारिक मंडी एवं दिल्ली मुंबई सेंट्रल रेलवे लाइन पर स्थित चौमहला क्षेत्र में कोई बड़ा उद्योग नहीं होने से बेरोजगारों के सामने रोजगार व मजदूरों के सामने दूसरी जगह पलायन का संकट बना हुआ है। क्षेत्र में बिजली, पानी, सड़क व रेल जैसे बुनियादी ढांचे की उपलब्धता व  चंबल, शिप्रा, छोटी काली सिंध जैसी प्रमुख नदियां होते हुए भी कस्बा बरसों से एक अदद उद्योग को तरस रहा है। क्षेत्र के पढ़े लिखे बेरोजगार युवा और मजदूर वर्ग के लोग नई सरकार से उद्योग की आस लगाए बैठे हैं। झालावाड़ जिले की डग विधान सभा क्षेत्र के गंगधार उपखंड के चौमहला क्षेत्र में  रोजगार के कोई  प्रमुख साधन बड़ा उद्योग नहीं होने के कारण क्षेत्र के पढ़े लिखे बेरोजगार युवाओं और मजदूरों के पास जीवन यापन का कोई ठोस आधार नहीं है। इस कारण यहां के युवा बेरोजगार व मजदूर पलायन कर अपने दूसरे राज्यों में मजदूरी के लिए जा रहे हैं।

क्षेत्र की भौगोलिक स्थिति, जलवायु उद्योग के लिए काफी अनुकूल है। साथ ही बिजली, पानी की भी समुचित उपलब्धता है। वहीं चौमहला झालावाड़ जिले की डग विधान सभा क्षेत्र के गंगधार उपखंड की मुख्य व्यापारिक मंडी है। तहसील गंगधार क्षेत्र में 116 गांव आते हैं। जिसकी आबादी करीब सवा लाख  है। डग व गंगधार तहसील मिलाकर 191 गांव हैं जिसकी आबादी करीब दो लाख है। इतने बड़े क्षेत्र के लिए आजादी के बाद से कोई उद्योग नहीं होने से लोगों को अपना घर बार छोड़ कर दूसरी जगह जाना पड़ता है। क्षेत्र के बाशिंदों का कहना है कि चौमहला क्षेत्र में कोई बड़ा उद्योग खुलना चाहिए। जिससे क्षेत्र का समुचित विकास हो सके। इसके लिए सभी दलों के जनप्रतिनिधियों को सामूहिक रूप से प्रयास करने चाहिए।

व्यापार संघ ने मुख्यमंत्री को लिखा पत्र
खाद्य एवं किराना व्यापार संघ अध्यक्ष पवन पिछोलिया ने मुख्य मंत्री, सांसद दुष्यंत सिंह, विधायक कालूराम मेघवाल को पत्र लिख कर आगामी बजट में चौमहला क्षेत्र में औद्योगिक इकाई स्वीकृत करने की मांग की है। पत्र में लिखा कि प्रयास कर बजट में चौमहला क्षेत्र में किसी बड़े उद्योग की स्वीकृति कराई जाए।  पत्र में बताया कि क्षेत्र में पानी की प्रचुर मात्रा उपलब्ध है व बड़े बांध प्रस्तावित हैं। औद्योगिक इकाई के लिए पठारी भूमि, दिल्ली मुंबई रेल मार्ग, नदियों की उपलब्धता है।

रेल व सड़क कनेक्टिविटी उपलब्ध
क्षेत्र में दिल्ली मुंबई एक्सप्रेस वे 8 लाइन, गरोठ उज्जैन इंदौर फोर लाइन समीप ही है। जिससे देश के हर कोने में वाहन से माल की सप्ेलाई हो सकती है। वहीं चौमहला पश्चिम रेलवे के दिल्ली-मुंबई मुख्य व सीधी रेल लाइन पर स्थित है। क्षेत्र में भयंकर बेरोजगारी है। जिससे श्रमिकों की उपलब्धता की भी कोई समस्या नहीं है। रोजगार नहीं होने से श्रमिक अन्य राज्यों में मजदूरी के जाते हैं। अगर यहां कोई बड़ा उद्योग लगता है तो आसानी के साथ श्रम बल भी उपलब्ध होगा और क्षेत्र के लोगों को अपना घर, गांव व कस्बा छोड़कर अन्यत्र नहीं जाना पड़ेगा। क्षेत्र में शांत वातावरण के सारी सुविधाएं उपलब्ध हैं। बड़ा उद्योग लगाने से क्षेत्र का विकास होगा।

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क्षेत्र में कोई उद्योग नहीं होने से बेरोजगारी है। श्रमिक मजदूरी के लिए अन्य राज्यों में पलायन करते है। यहां बिजली, पानी, पठारी जमीन के साथ रेल व सड़क का साधन उपलब्ध है। यहां कोई उद्योग फैक्ट्री खुलनी चाहिए। इसको लेकर मुख्यमंत्री,सांसद, विधायक को भी पत्र लिखा है।
- पवन पिछोलिया, अध्यक्ष खाद्य एवं किराना व्यापार संघ चौमहला

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कोई औद्योगिक इकाई खुले इसके लिए  प्रयास किए जा रहे है। इस विषय में विधायक को ज्ञापन भी दिया गया है। उद्योग खुलने से बेरोजगारी कम होगी रोजगार के नए अवसर खुलेंगे।
- गौतम जैन, भाजपा मंडल अध्यक्ष

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चौमहला क्षेत्र में कोई औद्योगिक इकाई खुलती है। क्षेत्र का विकास होगा। बेराजगारी कम होगी।
- जगदीश अग्रवाल, ग्रेन व्यवसाई

क्षेत्र में औद्योगिक इकाई खुले इसके लिए प्रयास जारी है।
- कालूराम मेघवाल, विधायक डग 

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