
Mission Aditya- L1: कक्षा बढ़ाने की चौथी प्रक्रिया सफल
मैन्यूवर सफलतापूर्वक निष्पादित
भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) ने घोषणा की कि सूर्य का अध्ययन करने के लिए भारत का पहला अंतरिक्ष-आधारित मिशन, आदित्य एल 1, ने गुरुवार के शुरुआती घंटों में अपना चौथा पृथ्वी-आधारित प्रक्रिया को सफलतापूर्वक पूरा कर लिया।
चेन्नई। भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) ने सूर्य का अध्ययन करने के लिए आदित्य एल1 मिशन का पृथ्वी-संबंधित चौथी प्रक्रिया (मैन्यूवर) सफलतापूर्वक पूरी की।
आज सुबह 02:00 बजे इसरो टेलीमेट्री, ट्रैकिंग और कमांड नेटवर्क (आईएसटीआरएसी), बेंगलुरु में कक्षा बढ़ाने का काम किया गया। इसरो ने सोशल मीडिया नेटवर्क -एक्स पोस्ट किया कि सूर्य का अध्ययन करने के लिए भारत का पहला अंतरिक्ष-आधारित मिशन, आदित्य एल1, ने गुरुवार/शुक्रवार के शुरुआती घंटों में अपना चौथा पृथ्वी-संबंधित मैन्यूवर सफलतापूर्वक पूरी कर लिया।
इसमें कहा गया कि चौथा पृथ्वी-से जुड़ा मैन्यूवर (ईबीएनप्त4) सफलतापूर्वक निष्पादित किया गया है। अंतरिक्ष एजेंसी ने एक्स पर लिखा कि मॉरीशस, बेंगलुरु, एसडीएससी-शार और पोर्ट ब्लेयर में इसरो के ग्राउंड स्टेशनों ने इस ऑपरेशन के दौरान उपग्रह को ट्रैक किया, जबकि वर्तमान में आदित्य-एल 1 के लिए फिजी द्वीप समूह में एक परिवहनीय टर्मिनल पोस्ट-बर्न संचालन का समर्थन करेगा।
अगला मैन्यूवर, ट्रांस-लैग्रेजियन प्वाइंट 1 इंसर्शन (टीएल1आई), जो पृथ्वी से प्रस्थान का प्रतीक है, 19 सितंबर को लगभग 2 बजे के लिए निर्धारित है।
भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) ने घोषणा की कि सूर्य का अध्ययन करने के लिए भारत का पहला अंतरिक्ष-आधारित मिशन, आदित्य एल 1, ने गुरुवार के शुरुआती घंटों में अपना चौथा पृथ्वी-आधारित प्रक्रिया को सफलतापूर्वक पूरा कर लिया।
Related Posts
Post Comment
Latest News

Comment List