क्रेशर संगठन की अनिश्चितकालीन हड़ताल : 3 दिन से सप्लाई बंद, डिप्टी सीएम से मिला प्रतिनिधमंडल
क्वारी लाइसेंस धारी खनन नहीं करेंगे
इसी तरह से चेजा पत्थर और कंक्रीट रोड़ी पर रॉयल्टी को 25% बढ़ाया गया है ,जो की अत्यधिक है। इसे भी कम किया जाए।
जयपुर। राजस्थान में स्मॉल माइंस चेजा लीज होल्डर एसोसिएशन और राजस्थान स्टोर क्रेशर संगठन ने प्रदेश में अनिश्चितकालीन हड़ताल के चलते राजस्थान में आमजन को आवास बनाने सहित अन्य निर्माण के लिए चेजा और रोड़ी का संकट गहरा गया है। स्टोन क्रेशर और स्मॉल माइनिंग प्रतिनिधिमंडल अपनी मांगों को लेकर उप मुख्यमंत्री दिया कुमारी से मिला। इस दौरान राजस्थान स्टोन क्रेशर एसोसिएशन अध्यक्ष योगेश कटारा और चेजा पत्थर लीज होल्डर्स एसोसिएशन के अध्यक्ष सहित अन्य पदाधिकारी मौजूद रहे। उन्होंने उप मुख्यमंत्री डॉ. प्रेमचंद बैरवा के निवास पर मांग पत्र सौंपा। उन्होंने जल्द अपनी मांगों पर जल्द कार्रवाई की मांग की है। प्रतिनिधियों ने कहा की उद्योग संकट में, सरकार को तुरंत समाधान करना चाहिए। उप मुख्यमंत्री ने समस्याएं सुनकर उचित समाधान का दिया आश्वासन दिया है। खनन की मांगों को लेकर प्रदेश भर में 2200 से ज्यादा क्रेशर और 2700 से ज्यादा चेजा पत्थर के क्वारी लाइसेंस धारी खनन नहीं करेंगे।
उन्होंने बताया कि इससे राजस्थान में सरकार का रोजाना सीधा-सीधा 10 करोड़ का खनन राजस्व का नुकसान हो रहा है। इसके अलावा अन्य नुकसान मिला लिए जाए तो सरकार को प्रतिदिन 25 करोड रुपए के रेवेन्यू का लॉस होगा। संगठन की मांग है कि वह राजस्थान मिनरल रूल्स 2017 को व्यवहारिक बनाएं, पर्यावरण स्वीकृति का सरलीकरण करें , समान रॉयल्टी एवं ठेकेदारी प्रथा पर रोक लगाए, खनन एवं क्रेशर को उद्योग का दर्जा दे ,अवैध खनन की जिम्मेदारी से वैध खनन वालों को मुक्ति दिलाई जाए। प्रतिनिधिमंडल ने कहा कि ड्रोन सर्वे के नियमों में भी संशोधन की आवश्यकता है । ड्रोन सर्वे में खनन धारी के आसपास जितना भी अवैध खनन मिलेगा उसकी पेनल्टी खान धारी के माथे मंड देंगे , ऐसे में लाखों रुपए की पेनेल्टीयां खनन पट्टाधारी कहां से देगा । वह ड्रोन सर्वे के खिलाफ नहीं है लेकिन ड्रोन सर्वे को अब से लागू किया जाए। इसी तरह से चेजा पत्थर और कंक्रीट रोड़ी पर रॉयल्टी को 25% बढ़ाया गया है ,जो की अत्यधिक है इसे भी कम किया जाए।

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