कैम्बे गोल्फ कोर्स को 40 एकड़ जमीन आवंटन मामले में हाईकोर्ट ने लीज डीड निरस्त करने को सही माना
जमीन गोल्फ कोर्स व गोल्फ एकेडमी के लिए थी, होटल और रिसोर्ट बना लिया
जस्टिस अनूप ढंड ने यह आदेश एक्सिस ट्रस्टी सर्विसेज लिमिटेड और मैसर्स नीसा लेजर की याचिकाओं को खारिज करते हुए दिए।
ब्यूरो/नवज्योति, जयपुर। राजस्थान हाईकोर्ट ने कैम्बे गोल्फ कोर्स को दी गई चालीस एकड जमीन का आवंटन जेडीए की ओर से निरस्त करने की कार्रवाई को सही माना है। इसके साथ ही अदालत ने इस संबंध में जेडीए अपीलीय अधिकरण के 3 मार्च, 2022 के आदेश को बरकरार रखते हुए उसमें दखल से इनकार कर दिया है।
जस्टिस अनूप ढंड ने यह आदेश एक्सिस ट्रस्टी सर्विसेज लिमिटेड और मैसर्स नीसा लेजर की याचिकाओं को खारिज करते हुए दिए। अदालत ने अपने आदेश में कहा की कंपनी ने जमीन आवंटन की शर्तों का उल्लंघन किया है। ऐसे में भूमि का आवंटन निरस्त करने की कार्रवाई विधि सम्मत है। जेडीए अधिकरण ने अपने फैसले में मैसर्स नीसा लेजर व एक्सिस ट्रस्टी की अपीलों को खारिज करते हुए माना था कि राज्य सरकार ने कंपनी को जमीन गोल्फ कोर्स व गोल्फ एकेडमी के लिए दी थी, लेकिन उसने यहां होटल और रिसोर्ट बना लिया। हाईकोर्ट में एक्सिस ट्रस्टी सर्विसेज ने जेडीए की कार्रवाई और अधिकरण के फैसले को चुनौती देते हुए कहा कि उन्होंने मैसर्स नीसा लेजर को इस जमीन को गिरवी रखकर करीब 175 करोड़ रुपए दिए थे। उन्हें इस राशि की रिकवरी करनी है। इसलिए जमीन का आवंटन और लीज डीड को निरस्त करने के आदेश को रद्द किया जाए। वहीं नीसा लेजर की ओर से कहा गया की पंजीकृत लीज डीड को जेडीए अपने स्तर पर निरस्त नहीं कर सकता। यह कार्रवाई सिविल कोर्ट में पीड़ित व्यक्ति की ओर से पेश दावे में ही हो सकती है। इसका विरोध करते हुए जेडीए की ओर से कहा गया कि जमीन गोल्फ कोर्स में गोल्फ एकेडमी के लिए दी थी, लेकिन कंपनी ने यहां होटल व रिसोर्ट बनाकर आवंटन की शर्तों का हनन किया है। दोनों पक्षों की बहस सुनने के बाद एकलपीठ ने याचिका को खारिज कर दिया है। गौरतलब है कि जेडीए ने 23 अगस्त, 2017 को इस जमीन का आवंटन निरस्त कर दिया था। इसके खिलाफ कंपनी ने जेडीए कोर्ट में याचिका दायर की थी, जिसे कोर्ट ने खारिज कर दिया था।
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