20 लाख पशुओं का रजिस्ट्रेशन पांच हजार रुपए का हुआ बीमा, मंत्री ने वीसी के माध्यम से जिलों के संयुक्त निदेशकों के साथ की समीक्षा बैठक
पशु चिकित्सालयों के लिए भूमि की उपलब्धता पर असंतोष
कुमावत ने अपात्र गौशालाओं की कमियों को दूर कर उन्हें पात्र बनाने के लिए विभाग के अधिकारियों को निर्देश दिए कि वे ऐसी गोशालाओं का मार्गदर्शन करें।
जयपुर। पशुपालन, गोपालन, डेयरी एवं देवस्थान मंत्री जोराराम कुमावत की अध्यक्षता में टोंक रोड स्थित आरएलडीबी सभागार में पशुपालन विभाग के कार्यों की समीक्षा बैठक आयोजित हुई। बैठक में शासन सचिव, पशुपालन और गोपालन डॉ. समित शर्मा, पशुपालन निदेशक डॉ. आनंद सेजरा सहित आलाधिकारी मौजूद रहे। मंत्री ने मुख्यमंत्री मंगला पशु बीमा योजना में स्वास्थ्य प्रमाण पत्रों की प्रगति, मोबाइल वेटरिनरी यूनिट के संचालन, एफएमडी टीकाकरण की प्रगति और पशु गणना आदि की जिलेवार समीक्षा की और वीसी के माध्यम से सीधे जिलों के अधिकारियों से जानकारी ली।मुख्यमंत्री मंगला पशु बीमा में अब तक 20 लाख से अधिक पशुओं का पंजीकरण हो चुका है और 80 हजार से अधिक पशुओं के लिए स्वास्थ्य प्रमाण पत्र जारी हो चुके हैं। साथ ही 5 हजार से अधिक पशुओं की बीमा पॉलिसी भी जारी कर दी गई है। मंत्री ने इस पर असंतोष व्यक्त करते हुए बीमा के काम में और गति लाने के निर्देश दिए। उन्होंने शेष रह गए स्वास्थ्य प्रमाण पत्र भी शीघ्र जारी करने के निर्देश देते हुए दो महीने के अंदर सभी पशुओं की बीमा पॉलिसी जारी करने के निर्देश दिए। मोबाइल वेटरिनरी यूनिट के प्रभावी संचालन पर चर्चा करते हुए कुमावत ने कहा कि मोबाइल वेटरिनरी यूनिट भारत सरकार की एक महत्वाकांक्षी और महत्वपूर्ण योजना है।
सरकार इस योजना पर काफी बजट खर्च कर रही है लेकिन अभी जो परिणाम मिलने चाहिए थे, वे नहीं मिल रहे हैं। उन्होंने जिलों के संयुक्त निदेशकों को निर्देश दिया कि एमवीयू का अधिक से अधिक प्रचार प्रसार कर घर घर तक इसकी जानकारी पहुचाएं और जिले के सभी गाड़ियों की मॉनिटरिंग जिम्मेदारी से करें। उन्होंने कहा कि 17 मई तक टीकाकरण की अवधि निर्धारित है और अभी तक मात्र 5 लाख पशुओं का ही इंद्राज पशुधन एप पर किया गया है जो कि बहुत ही असंतोषजनक है। उन्होंने सभी संभागीय अतिरिक्त निदेशक और जिला संयुक्त निदेशकों को माइक्रो लेवल प्लानिंग कर टीकाकरण के शत प्रतिशत लक्ष्य सुनिश्चित करने के निर्देश देते हुए कहा कि भारत सरकार टीकाकरण की सीधी मॉनिटरिंग कर रही है।
पशु चिकित्सालयों के लिए भूमि की उपलब्धता पर असंतोष
वर्ष 2024-25 की बजट घोषणा में नवस्वीकृत-क्रमोन्नत पशु चिकित्सा संस्थाओं के भवनों के लिए भूमि के पट्टों की उपलब्धता की प्रगति पर कुमावत ने असंतोष व्यक्त करते हुए कहा कि 500 नवीन उप केंद्रों में से मात्र 34 के लिए पट्टे प्राप्त हुए हैं जो कि बहुत खेदजनक स्थिति है। अधिकांश जिलों की प्रगति शून्य है। उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिया कि व्यक्तिगत रूप से कलक्टर और एसडीएम से मिलकर इस कार्य में तेजी लाएं और एक महीने में भूमि के पट्टे स्वीकृत कराएं। कुमावत ने अपात्र गौशालाओं की कमियों को दूर कर उन्हें पात्र बनाने के लिए विभाग के अधिकारियों को निर्देश दिए कि वे ऐसी गोशालाओं का मार्गदर्शन करें।

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