असर खबर का - आयुर्वेद कॉलेज अब तलवंडी में बने नए भवन में शिफ्ट, कलक्टर के हस्तक्षेप से छात्रों की समस्या का किया समाधान
नवज्योति की खबर का असर
अनुमति के अभाव में कॉलेज को नहीं किया था शिफ्ट ।
कोटा। तलवंडी में स्थित राजकीय आयुर्वेद योग एवं प्राकृतिक चिकित्सा महाविद्यालय को आखिरकार पुरानी किराए वाली बिल्डिंग से निजात मिल गई। अब महाविद्यालय को नये परिसर में शिफ्ट कर दिया गया है। 1 सितंबर से कॉलेज का संचालन नए भवन में शुरू हो चुका है। पुराने भवन पर कॉलेज प्रशासन को हर माह करीब सवा दो लाख रुपए किराए के रूप में चुकाने पड़ रहे थे। वहीं बारिश के दिनों में छात्रों को आवागमन और पढ़ाई दोनों में दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा था। दैनिक नवज्योति में 3 अगस्त को अध्ययनरत विद्यार्थियों को आने-जाने में हो रही परेशानी शीर्षक से प्रकाशित खबर के बाद कलक्टर पीयूष समारिया ने मामले का संज्ञान लिया। इसके बाद डॉ. नित्यानंद शर्मा के नेतृत्व में एक प्रतिनिधिमंडल ने कलक्टर से मिलकर छात्रों की समस्याएं रखीं। कलक्टर ने आरएसआरडीसी डायरेक्टर से चर्चा कर कॉलेज के लिए नए भवन में 10 कमरे आवंटित कर दिए। डॉ. नित्यानंद ने बताया कि नए भवन में कुछ कार्य अभी अधूरे हैं, जिन्हें जल्द ही पूरा कर लिया जाएगा। गौरतलब है कि तलवंडी स्थित जिला आयुर्वेद महाविद्यालय का भवन पहले ही तैयार हो चुका था, लेकिन अनुमति के अभाव में कॉलेज को वहां शिफ्ट नहीं किया जा सका। उस दौरान प्राचार्य की ओर से छात्रों की सुविधा को देखते हुए या तो नए भवन में शिफ्ट करने अथवा 10 कमरे उपलब्ध करवाने का प्रस्ताव रखा गया था, जिसे डायरेक्टर अजमेर को भी भेजा गया था।
काउंसलिंग में छात्रों की कोटा पहली च्वॉइस
इस महाविद्यालय को 2021 में मान्यता मिली तथा 2022 से बैच लगना शुरू हुआ। काउंसलिंग के दौरान विभिन्न जिलों के छात्र कोटा को ही पहली च्वॉइस रख रहे हैं। इस महाविद्यालय की सीटें 1. बीएएमएस में 60 तथा बीएनवाइएस में 30 सीटें हैं। कुल 90 सीटें हैं, इसमें सेंट्रल की 5 सीटें भी शामिल है। इस महाविद्यालय में हाइरैंक वाले भी अपनी च्वॉइस कोटा रख रहे है। राजस्थान के अधिकांश महाविद्यालय की अपेक्षा कोटा की सीटें जल्द ही भर जाती है। कोटा शिक्षा नगरी के रूप में विख्यात होने के कारण हाईरैंक वाले भी विद्यार्थी यहां आना पसंद करते है। इस परीक्षा में हजारों की संख्या में छात्र-छात्राएं बैठते है।
150 कर्मचारी रोजाना दे रहे अपनी सेवा
इस महाविद्यालय में रोजाना 150 कर्मचारी अपनी सेवा दे रहे है। इस महाविद्यालय में छात्र-छात्राओं को सभी सुविधाएं उपलब्ध करवाई गई है। अभी प्रशासन की ओर से 10 कमरे आवंटन हुए है। जिनमें विद्यार्थियों की पढ़ाई चल रही है। इस नए भवन में सुव्यवस्थित लाइब्रेरी भी है। जिनमें विद्यार्थियों के अध्ययन के लिए ज्ञानवर्धक पुस्तकों का भी समावेश है।
ग्राहक पंचायत ने एडीएम को सौंपा ज्ञापन
कोटा। अखिल भारतीय ग्राहक पंचायत कोटा महानगर ने शुक्रवार को न्यू मेडिकल कॉलेज परिसर में अवैध वाहन पार्किंग के नाम पर हो रही मनमानी वसूली को लेकर प्रशासन का ध्यान आकर्षित किया। महानगर सचिव एडवोकेट सोनल विजयवर्गीय ने बताया कि पिछले 7 माह में मरीजों व तीमारदारों से पार्किंग के जरिये अवैध वसूली की गई। इस दौरान आमजन के साथ अभद्र व्यवहार की शिकायतें भी सामने आईं। इस संबंध में पंचायत प्रतिनिधिमंडल ने अतिरिक्त जिला कलक्टर अनिल कुमार सिंघल को ज्ञापन सौंपा। इस पर एडीएम ने शीघ्र ही कार्रवाई का आश्वासन दिया। इस अवसर पर प्रमोद राठौर, खुशाल गुप्ता, ज्ञानेश लोहमी धीरेन्द्र धाकड़, पुष्पलता शामिल रहे। मालवीय, विधि आयाम प्रमुख दिनेश नाथावत, महिला आयाम प्रमुख भावना जैन, श्वेता विजय, कुंज बिहारी, गजेंद्र मेहता, सलोचना गुर्जर, अबरार खान सहित कई एडवोकेट व पदाधिकारी उपस्थित रहे।
इन छात्राओं ने बताया कोटा को पहली च्वॉइस
कोटा को शिक्षा नगरी के रूप में जाना जाता है। यहां आकर पढ़ाई करना मेरे गर्व की बात है। मैंने काउंसलिंग को प्रथम च्वॉइस बताया।
- खुशबू चौधरी, सीकर
शिक्षा के मामले में कोटा क्षेत्र का काफी नाम है। यहां पढ़ाई के साथ माहौल भी अच्छा मिलता है। काउंसलिंग के दौरान मैंने कोटा को ही चुना।
- तान्या चौधरी, जयपुर
मैं छावनी क्षेत्र कोटा की ही रहने वाली हूं। इसलिए मैंने कोटा को ही अपनी पहली च्वॉइस रखा।
- नसरा अली, छावनी
इस महाविद्यालय में नंबर आना मेरे लिए अच्छा है। मैं कोटा क्षेत्र के बंसत विहार में रहती हूं। कम सीटों में भी मेरा चयन हुआ।
- श्रेया औदिच, कोटा
अब बैच नए भवन में संचालित
नवज्योति को दिया धन्यवाद
मैं दैनिक नवज्योति को धन्यवाद दे रहा हूं। उन्होंने छात्रों के हितों को ध्यान में रखकर खबर को प्रकाशित किया था। बारिश के दौरान पुरानी बिल्डिंग में सीलन और पानी टपकने से छात्रों की पढ़ाई लगातार प्रभावित हो रही थी। कई बार कॉलेज प्रबंधन को समस्या से अवगत करवाने के बावजूद समाधान नहीं निकल पाया। आखिरकार छात्रों ने 25 अगस्त को कोटा कलक्टर पीयूष समारिया को ज्ञापन सौंपा। कलक्टर ने मामले को गंभीरता से लेते हुए आरएसआरडीसी डायरेक्टर से चर्चा की और कॉलेज के लिए नए भवन में 10 कमरे आवंटित कराए। इसके बाद 1 सितंबर से महाविद्यालय को नए भवन में शिफ्ट कर दिया गया। उन्होंने कहा कि अब बैच नए भवन में संचालित हो रहे हैं और विद्यार्थियों को बेहतर वातावरण मिल रहा है।
- डॉ. नित्यानंद शर्मा, राजकीय आयुर्वेद योग एवं प्राकृतिक चिकित्सा महाविद्यालय

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