लोक अदालत का आयोजन, पांच लाख सत्तर हजार मुकदमों की सुनवाई
एक्टिंग सीजे और राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण के कार्यकारी अध्यक्ष एमएम श्रीवास्तव ने दीप प्रज्वलित कर लोक अदालत का शुभारंभ किया।
राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण की ओर से शनिवार को हाइकोर्ट सहित प्रदेश की अधीनस्थ अदालतों में राष्ट्रीय लोक अदालत का आयोजन किया गया।
जयपुर। राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण की ओर से शनिवार को हाइकोर्ट सहित प्रदेश की अधीनस्थ अदालतों में राष्ट्रीय लोक अदालत का आयोजन किया गया। एक्टिंग सीजे और राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण के कार्यकारी अध्यक्ष एमएम श्रीवास्तव ने दीप प्रज्वलित कर लोक अदालत का शुभारंभ किया।लोक अदालत में मुकदमों का राजीनामे से निस्तारण करने के लिए 1047 बैंचों का गठन किया गया है। इनके समक्ष करीब 5 लाख 70 हजार मुकदमों को सूचीबद्ध किया गया है।इसमें 231884 मुकदमें प्री लिटिगेशन और 337289 लंबित मुकदमे शामिल हैं।
लोक अदालत में एनआइए, धन वसूली, राजीनामे योग्य फौजदारी मामले, एमएसीटी, बिजली, पानी और बिलों के भुगतान संबंधित, वैवाहित प्रकरण, पेंशन, राजस्व मामलों सहित अन्य मामलों को सूचीबद्ध किया गया है। राष्ट्रीय विधिक सेवा प्राधिकरण के निर्देशानुसार शनिवार को वर्ष की पहली राष्ट्रीय अदालत का आयोजन हो रहा है। इस बार ऑनलाइन और ऑफलाइन दोनों ही माध्यम से राजीनामे योग्य मुकदमों की सुनवाई होगी।
हाईकोर्ट जयपुर में छह सेवानिवृत्त न्यायाधीश और एक पदासीन न्यायाधीश की बेंच बनाई गई है। जिसमें 24 मामले प्री लिटिगेशन और 3791 लंबित मामले सुनवाई के लिए सूचीबद्ध है। राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण के सदस्य सचिव ने बताया कि लोक अदालत की सफलता के लिए प्राधिकरण के अध्यक्ष न्यायाधीश एमएम श्रीवास्तव ने विभागों के अधिकारियों के साथ वर्चुअल बैठक ली है। इसी के साथ सभी संबंधित अधिकारियों को आपसी समझाइश के जरिए ज्यादा से ज्यादा से मामलों का निस्तारण करने का संदेश दिया है।
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