मरीजों की ट्रेवल हिस्ट्री खंगालने के निर्देश

निपाह वायरस के लक्षण दिखने पर होगी जांच : हेल्थ डिपार्टमेंट ने जारी की एडवाजरी

मरीजों की ट्रेवल हिस्ट्री खंगालने के निर्देश

डब्ल्यूएचओ के मुताबिक निपाह वायरस चमगादड़ और सूअर जैसे जानवरों से इंसानों में फैलता है।

कोटा। केरल में निपाह वायरस के केस मिलने और मौत होने के बाद राज्य सरकार के चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग ने भी इसको लेकर अलर्ट और एडवाइजरी जारी की है। इसमें राज्य सभी मेडिकल कॉलेज के प्रिंसिपल और सभी जिलों के सीएमएचओ को अलर्ट जारी करते हुए जांच और ट्रीटमेंट के लिए हेल्थ वर्कर्स को अलर्ट मोड पर रखने के निर्देश दिए है। साथ ही दक्षिण भारत खासकर उन राज्यों से जहां इस वायरस के केस मिल रहे हैं, वहां से आने वाले यात्रियों पर निगरानी रखने के निर्देश दिए हैं । मेडिकल हेल्थ डिपार्टमेंट के डायरेक्टर से जारी एडवाइजरी के मुताबिक केरल में 7 केस मिलने और 2 मरीजों की मौत होने के बाद इसके फैलने का खतरा दूसरे राज्यों में बढ़ गया है। ऐसे में अगर कोई इस तरह के लक्षण वाला मरीज आता है तो उसके जांच के सैंपल लेकर उसे भिजवाए। डब्ल्यूएचओ के मुताबिक निपाह वायरस चमगादड़ और सूअर जैसे जानवरों से इंसानों में फैलता है। एक्सपर्ट्स मानते हैं कि यह वायरस एक संक्रमित व्यक्ति से दूसरे व्यक्ति में भी फैल सकता है। हालांकि केरल में  मंगलवार को 71 सैंपल टेस्टिंग के लिए भेजे गए थे जिसमें से सभी निगेटिव पाए गए हैं। इसके अलावा 200 से अधिक हाई रिस्क वालों की भी रिपोर्ट निगेटिव आई है। हालांकि स्वास्थ्य विशेषज्ञों का कहना है सभी लोगों को संक्रमण से बचाव के लिए प्रयास करते रहना चाहिए।

30 शहरों में जोखिम को लेकर किया अलर्ट
सीएमएचओं ने बताया कि दक्षिणी राज्य केरल इन दिनों गंभीर और जानलेवा निपाह वायरस की चपेट में है। संक्रमण के कारण अब तक दो लोगों की मौत हो चुकी है, सात लोगों में संक्रमण की पुष्टि की गई थी। केरल का कोझिकोड जिला संक्रमण के सबसे ज्यादा चपेट में है, इसके अलावा करीब 30 शहरों में जोखिमों को लेकर अलर्ट जारी किया गया है। केरल में संक्रमण के खतरे को देखते हुए आसपास के राज्यों को भी सतर्क किया गया है। विशेषज्ञो के अनुसार कोरोना की तुलना में निपाह गंभीर संक्रमण और जोखिमों को बढ़ाने वाला हो सकता है, इसका मृत्युदर भी अधिक हो सकता है, जो फिलहाल चिंता का विषय है।

ट्रेवल हिस्ट्री पता करने के निर्देश
सीएमएचओं डॉ. जगदीश कुमार सोनी ने बताया कि एडवाइजरी में अगर इस तरह का कोई लक्षण वाला मरीज हॉस्पिटल में दिखाने आता है तो उसकी ट्रैवल हिस्ट्री जाननी जाएगी। अगर वह केरल या उसके आसपास के स्टेट जहां इस वायरस के केस मिले हो तो उसकी तुरंत जांच के लिए सैंपल भिजवाने के निर्देश जारी किए है। 

ये  लक्षण दिखाई दें तो बरतें सावधानी
डिप्टी सीएमएचओं डॉ. घनश्याम मीणा  ने बताया कि निपाह के जोखिमों को लेकर सभी लोगों को सावधानी बरतते रहने की आवश्यकता है। इसके लक्षणों पर गंभीरता से ध्यान दें। संक्रमितों को शुरूआत में फ्लू जैसे लक्षण होते हैं। निपाह वायरस मुख्य रूप से फेफड़ों और मस्तिष्क पर अटैक करता है। इसके लक्षणों में खांसी और गले में खराश से लेकर तेजी से सांस लेने, बुखार-मतली और उल्टी जैसी गैस्ट्रोइंटेस्टाइनल समस्याएं हो सकती हैं। गंभीर मामलों में, इसके कारण इन्सेफलाइटिस (मस्तिष्क की सूजन) हो सकती है, जो कोमा और मृत्यु के खतरे को बढ़ाने वाली मानी जाती है।इस मुख्य लक्षणों में बुखार आना, सिरदर्द, कफ बनना, गले में खराश होना, सांस में तकलीफ और उल्टी होना इस वायरस की चपेट में आए मरीज के सामान्य लक्षण है। 

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कमजोर रोग प्रतिरोधक क्षमता वालों को रहना होगा सावधान
विशेषज्ञों का कहना है कि इस जानलेवा संक्रमण का खतरा किसी को भी हो सकता है, बच्चों से लेकर बुजुर्गों तक सभी में इसके जोखिम देखे जाते रहे हैं। संक्रमित व्यक्ति या जानवर के संपर्क में आने वाले किसी भी व्यक्ति को यह बीमारी हो सकती है। जिन लोगों की रोग प्रतिरक्षा कमजोर है उनमें इस रोग के कारण गंभीर समस्याओं के विकसित होने का जोखिम अन्य लोगों की तुलना में अधिक हो सकता है, ऐसे लोगों को विशेष सावधानी बरतने की आवश्यकता है। 

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संक्रमण से बचाने को रखनी होगी सावधानी
डॉक्टरों का कहना है कि  निपाह संक्रमण से बचाव के लिए कोई भी टीका उपलब्ध नहीं है, इसके अलावा संक्रमण से बचाव के लिए कोई विशिष्ट दवा भी नहीं है। यही कारण है कि स्वास्थ्य विशेषज्ञ सभी लोगों को बचाव के लिए सुरक्षात्मक उपायों का पालन करते रहने की सलाह दे रहे है। निवारक उपायों में सावधानियां बरतने के साथ, हाथ की स्वच्छता का ध्यान रखकर जोखिमों को कम किया जा सकता है। जिन राज्यों में इसका जोखिम अधिक हैं वहां सभी लोगों को अलर्ट रहने की सलाह दी गई है। 

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इनका कहना है
सभी चिकित्सा अधिकारियों व सीएचसी पीएचसी पर निपाह वायरस को लेकर स्वास्थ्य मंत्रालय से जारी गाइड लाइन की पालना करने और दक्षिण भारत से आने वाले लोगों की केस हिस्ट्री की जानकारी लेने के निर्देश जारी किया है। साथ लोगों से अपील की जा रही है।  केरल व संक्रमित शहरों में जाने से बचने के लिए कहा जा रहा है। अस्पताल में निपाह के लक्षणों वाले मरीजों की जांच कराने के भी  निर्देश जारी किए। सभी को अलर्ट मोड पर रहने के लिए कहा गया। 
- डॉ. जगदीश कुमार सोनी, सीएमएचओं कोटा

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