पालिका अध्यक्ष की कुर्सी पर बैठी मिली ईओ, कार्यालय का तोड़ा ताला
पालिका अध्यक्ष की कुर्सी पर बैठी मिली ईओ, कार्यालय का तोड़ा ताला
पालिका अध्यक्ष घनश्याम खटीक का कहना है कि ईओ अपने कार्य के प्रति लापरवाह असंवेदनशील है, कभी 15 दिन में तो कभी सात दिन में ऑफिस आती है लोग कामकाज के लिए दर-दर भटकते रहते हैं लोगों की परेशानी को ध्यान में रखते हुए ही दफ्तर के ताला लगाया गया था।
रामगढ़ पचवारा। गत चार दिनों से ईओ दफ्तर के पालिका अध्यक्ष द्वारा लगाया गया ताला ईओ मोनिका सोलंकी, तहसीलदार एवं पुलिस की मौजूदगी में तुड़वाया गया। ताला तुड़वाया जाने से पहले पालिका अध्यक्ष की कुर्सी पर ईओ मोनिका सोलंकी के बैठने पर पालिका अध्यक्ष घनश्याम खटीक ने तंज करते हुए उनकी कुर्सी पर कब्जा करने की बात कही। उन्होंने कहा कि ईओ द्वारा अधिकारों का हनन हो रहा है और अब कुर्सी पर भी कब्जा कर लिया। इतना सुनकर ईओ ने घड़ियाली आंसू बहाना शुरू कर दिया और मामले की जानकारी दूरभाष पर एसडीएम वर्षा मीणा को दी।
पंचायत समिति सभागार में मौजूद एसडीएम वर्षा मीणा ईओ कार्यालय पहुंची। उन्होने ईओ को सांत्वना देते हुए बीडियो में ले गई, जहां अध्यक्ष और ईओ के मध्य समझाईस का प्रयास किया। लेकिन पालिका अध्यक्ष अपनी मांगों को लेकर अड़े हैं। मौके पर मौजूद विधायक ने भी ईओ से चर्चा कर मामले की जानकारी ली और अध्यक्ष को भी मौके पर बुलाने का प्रयास किया लेकिन वे नहीं आ पाए। इसके बाद विधायक के निर्देश पर ईओ मोनिका सोलंकी ,तहसीलदार मदनलाल मीणा समेत पुलिस की मौजूदगी में ईओ दफ्तर का ताला तुड़वा दिया गया। कार्यालय का ताला तुड़वाने के बाद ईओ ने कई दिनों से पेंडिंग कार्यों का निस्तारण किया ।
इस दौरान विधायक रामविलास मीणा ने ईओ को निर्देश दिए कि वे कोरम के साथ तालमेल बिठाकर कस्बे के विकास को गति प्रदान करें। इस दौरान ईओ ने मीडिया से रूबरू होते हुए बताया कि वे कस्बे के विकास के लिए काम करना चाहती है, लेकिन प्लान तो कोरमा ही बनाए। मीडिया द्वारा निदेशालय दफ्तर के फरमान पर एसी, बेड ,गद्दा, तकिया, पर्दे समेत अन्य सामान निदेशालय ऑफिस भिजवाए जाने के सवाल का जवाब देते हुए कहा कि मैंने निदेशालय की आदेशों की पालना की है नगर पालिकाओं में बजट भी वहीं से आता है, और निदेशालय की ओर से नगर पालिका को इस प्रकार के आदेश जारी कर सकते हैं। उन्होंने कहा कि मेरी मनसा कार्य करने की है। वहीं दूसरी और पालिका अध्यक्ष घनश्याम खटीक का कहना है कि ईओ अपने कार्य के प्रति लापरवाह असंवेदनशील है, कभी 15 दिन में तो कभी सात दिन में ऑफिस आती है लोग कामकाज के लिए दर-दर भटकते रहते हैं लोगों की परेशानी को ध्यान में रखते हुए ही दफ्तर के ताला लगाया गया था। ईओ ने कार्यभार संभालने से आज तक कभी नगर पालिका अध्यक्ष व कोरम की आवश्यकता नहीं समझी।
बैंक में एकल खाता खुलवाकर लेनदेन की जा रही है, सरकारी बजट से लाखों का सामान खरीद कर जयपुर निदेशालय को भेजा गया है, जबकि नगर पालिका के पास निजी आय शुन्य हैं, ईओ और कोरम के अधिकारों का सरेआम हनन किया जा रहा है। विधायक समेत उच्च अधिकारियों को जयपुर निदेशालय भेजे गए सामान की जांच करवानी चाहिए। सबसे खास बात तो यह है कि 15 दिन से अनुपस्थित चल रही ईओ अब आसानी से रजिस्टर में अपनी प्रजेंट दिखा देगी, लेकिन उनकी अनुपस्थिति को लेकर किसी भी अधिकारी ने आज तक नहीं पूछा जिससे साफ जाहिर है कि अधिकारी भी एव से मिले हुए हैं। उन्होंने बताया कि जब उनके पद का कोई महत्व नहीं है तो उनका और कोरम का निर्वाचन रद्द कर देना चाहिए। वे इस मामले को लेकर गुरुवार को स्वायत्त शासन विभाग के मंत्री झाबर सिंह खर्रा से भी मिले हैं। हक और अधिकार की लड़ाई जारी रखेंगे।
फिर ईओ कार्यालय से नदारद रही, कामकाजी लोग कार्यालय के चक्कर लगाते नजर आए, पेंशन आवेदन पर हस्ताक्षर करवाने आए बद्रीलाल दफ्तर पर ईओ नहीं मिलने के कारण बैरंग लौट गए। विधायक के निर्देश हवा होते नजर आए, और कामकाजी लोग चक्कर काटते रहे।

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