सफाई व्यवस्था हो रही चौपट, ग्रामीण खुद कर रहे नाली साफ

सफाई नहीं कर रहे सफाईकर्मी, सफाई कर्मचारियों का 2 महीनों से रूका हुआ है भुगतान

 सफाई व्यवस्था हो रही चौपट, ग्रामीण खुद कर रहे नाली साफ

जिसके चलते कस्बे में कई जगह गन्दगी के ढेर लग गए। वहीं नालियों में कचरा जमा होने से गन्दा पानी आम रास्तों पर फैलने लगा है।

 मंडाना। मंडाना कस्बे में ग्राम पंचायत द्वारा करवाई जाने वाली सफाई व्यवस्था चौपट होने से कस्बे में गंदगी के ढेर  लग रहे है, नालियां में कचरा जमा होने से नालियों का गंदा पानी आम रास्तों पर फैल रहा है। जिससे आमजनो को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। वही कस्बेवासियों को मजबूरन घरों के सामने की नालियों को स्वयं सफाई करनी पड़ रही। यहां कस्बे में ग्राम पंचायत द्वारा वर्षों से मासिक भुगतान से सफाई कर्मचारियों से कस्बे में सफाई करवाई जाती है। लेकिन पिछले 2 महीनों से सफाई कर्मचारियों से सरपंच व ग्राम विकास अधिकारी द्वारा मना कर देने से सफाई कर्मचारियों ने कस्बे में सफाई करना बंद कर देने से कस्बे की सफाई व्यवस्था चौपट हो गई। जिसके चलते कस्बे में कई जगह गन्दगी के ढेर लग गए। वहीं नालियों में कचरा जमा होने से गन्दा पानी आम रास्तों पर फैलने लगा है। जिसके चलते परेशान कस्बे वासियों में कई लोग जैसे तैसे करके अपने घरों के सामने की नालियों को स्वयं साफ कर रहे है। इस पर कस्बेवासियों ने नाराजगी जाहिर करते हुए पंचायत के जनप्रतिनिधियों को जिम्मेदार ठहराया है। कस्बेवासियों का कहना है की यहां पूर्व की ग्राम पंचायत कोरम सफाई करवाती आई है व आम रास्तों व नालियों की सफाई करवाने की जिम्मेदारी ग्राम पंचायत की है। 

वार्ड 13 में उफनती नालियों में पनप रहे सैंकड़ों मच्छरों से बीमारियां फैल रही है। यहां सफाई कर्मी नदारद है। जिम्मेदारों की लापरवाही से सफाई करने नहीं पहुंचते इसलिए स्वयं ही को घर के सामने की नालियों को साफ करना पड़ रहा है। इस बारे में ग्राम पंचायत मंडाना में भी कई बार मौखिक रूप से अवगत करवा दिया गया है लेकिन समस्या जस की तस बनी हुई है। 
- मनोज सुमन, कस्बेवासी, वार्ड नं 13 
 
ग्राम विकास अधिकारी व सरपंच द्वारा सफाई के लिए मना कर देने से पिछले 2 महीनों से कोई भी सफाई कर्मचारी कस्बे में सफाई करने नही जा रहे है। वहीं ग्राम पंचायत ने सफाई कर्मचारियों का पिछले 2 महीनों के भुगतान भी रोक रखा है। 
- मुरली पचेरवाल, सफाई कर्मचारी। 
 
पिछले 2 महीनों से वार्ड में सफाई नहीं हो रही है। जिससे वार्ड में गंदगी व नालियों में कचरा भरा हुआ है। सफाई कर्मचारियों को मासिक वेतन वार्ड में सफाई होने पर वार्ड पंच के हस्ताक्षर पर पंचायत द्वारा दिया जाता है। वहीं वार्ड पंच भुवनेश राठौर का कहना है कि सफाई कर्मचारियों के मासिक वेतन के लिए हस्ताक्षर करना मजबूरी है।
-  विनोद कुमार वर्मा, वार्ड पंच

इससे पूर्व प्रत्येक वार्ड में 2500 रुपये महीने से सफाई कर्मचारी का भुगतान किया जा रहा था। लेकिन फिर भी वार्ड में सफाई नही हो पा रही थी। मासिक भुगतान बन्द कर अब महीने में 8 दिन काम पूरे वार्ड में करने पर 300 रुपये प्रतिदिन के हिसाब से मजदूरी भुगतान किया जाएगा। साथ ही विकास अधिकारी लाडपुरा के निर्देश है कि जब तक आचार सहिंता है तब तक इसी तरह सफाई कार्य करवाए। इसके बाद आचार सहिंता के बाद सफाई का टेण्डर करवाकर सफाई करवाई जाएगी।
-  दुर्गेशनंदिनी, ग्राम विकास अधिकारी।
 
महीने का भुगतान वार्ड पंचों के हस्ताक्षर पर दिया जाता है। सफाई कर्मचारी चाहे सफाई कर रहा है या नही भुगतान किया जाता है। भुगतान करने में पंचायत की तरफ से कोई कमी नही है। ग्राम विकास अधिकारी द्वारा सफाई कर्मचारियों का मासिक भुगतान नहीं देकर खुली मजदूरी से सफाई कार्य करवाने की बात पर सफाई कर्मचारी सफाई करने को राजी नही है। 
- सन्तोष मेवाडा, सरपंच ग्राम पंचायत मंडाना

  ग्राम में सफाई व्यवस्था को लेकर सरपंच व ग्राम विकास अधिकारी से मीटिंग की गई थी। सफाई व्यवस्था को लेकर बात सामने आई है कि सफाई कर्मचारियों को मासिक वेतन देने के बाद भी सफाई नहीं हो रही है। इस पर आचार सहिंता के उपरांत टेण्डर डलवाकर सफाई व्यवस्था करवाई जाएगी। 
- शैलेश रंजन, विकास अधिकारी, लाडपुरा पंचायत समिति। 

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