उपहार’ ब्राण्ड को अधिक व्यापक, मजबूत और विश्वसनीय बनाया जाए : प्रमुख शासन सचिव
उत्पादों की पैकिंग को अधिक आकर्षक बनाया जाए
राजपाल बुधवार को शासन सचिवालय स्थित अपने कक्ष में सहकारी उपभोक्ता भण्डारों द्वारा अपने उत्पादों की ब्राण्डिंग एवं प्रचार-प्रसार के संबंध में बैठक को सम्बोधित कर रही थीं
जयपुर। सहकारिता विभाग की प्रमुख शासन सचिव एवं रजिस्ट्रार, सहकारी समितियां मंजू राजपाल ने कहा कि मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा की मंशानुरूप सहकारी उपभोक्ता भण्डारों द्वारा अपने उत्पादों की समुचित ब्राण्डिंग एवं प्रचार-प्रसार सुनिश्चित किया जाए। उन्होंने कहा कि कॉनफेड का ‘उपहार’ ब्राण्ड अपनी खास पहचान बना चुका है, इसलिए सहकारी उपभोक्ता भण्डारों के सभी उत्पाद इसी ब्राण्ड के नाम से बिक्री किए जाएं।
राजपाल बुधवार को शासन सचिवालय स्थित अपने कक्ष में सहकारी उपभोक्ता भण्डारों द्वारा अपने उत्पादों की ब्राण्डिंग एवं प्रचार-प्रसार के संबंध में बैठक को सम्बोधित कर रही थीं। उन्होंने कहा कि ब्राण्ड उत्पादों की विश्वसनीयता तथा विशिष्ट पहचान स्थापित करते हुए ग्राहकों को आकर्षित करता है और उन्हें उत्पादों पर भरोसा करने में मदद करता है। एक मजबूत ब्राण्ड व्यवसाय की सफलता के लिए महत्वपूर्ण कड़ी है। अत: ‘उपहार’ ब्राण्ड को और अधिक व्यापक, मजबूत और विश्वसनीय बनाने के प्रयास किए जाएं।
प्रमुख शासन सचिव ने कहा कि कॉनफेड तथा जिला सहकारी उपभोक्ता भण्डारों के उत्पादों के ब्राण्ड नाम में एकरूपता होनी चाहिए। जिन भण्डारों द्वारा उपहार ब्राण्ड नाम का उपयोग नहीं किया जा रहा है, उन्हें इसका उपयोग करने के लिए निर्देश जारी किए जाएं। उन्होंने कहा कि जिला सहकारी उपभोक्ता भण्डारों के उत्पादों की पैकिंग को अधिक आकर्षक बनाया जाए। स्मार्ट पैकिंग में उत्पाद उपलब्ध होने से ग्राहक इनकी तरफ ज्यादा आकर्षित होंगे। साथ ही, उत्पादों को गिफ्ट पैक में भी उपलब्ध करवाया जाए, जिससे लोग त्योहारों आदि पर इन्हें एक-दूसरे को उपहार के रूप में दे सकें।
राजपाल ने कहा कि बड़ी संख्या में देश-विदेश से लोग राज्य में पर्यटन तथा भ्रमण के लिए आते हैं। ये लोग राजस्थान के प्रसिद्ध मसालों तथा अन्य उत्पादों को आसानी से खरीदकर ले जा सकें, इसके लिए एयरपोर्ट जैसे स्थानों पर उपहार ब्राण्ड के उत्पाद उपलब्ध करवाये जाने चाहिए। उन्होंने नेहरू सहकार भवन, शासन सचिवालय एवं राइसेम आदि स्थानों पर ‘उपहार’ आउटलेट्स खोले जाने तथा सरस पार्लरों पर ‘उपहार’ ब्राण्ड के उत्पाद उपलब्ध करवाए जाने का सुझाव दिया। बैठक में अधिकारियों ने बताया कि उपहार ब्राण्ड के 5 मसाले एगमार्क हैं, जबकि शेष के लिए एगमार्क प्राप्त करने हेतु आवेदन किया गया है।

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