राजस्थान में ओपीएस बंद!
कृषि आयुक्तालय की ओर से दो दिन पहले जारी नियुक्ति आदेश को सही माने, तो राज्य सरकार ने पुरानी पेंशन व्यवस्था (ओपीएस) को बंद कर दिया।
ब्यूरो/नवज्योति, जयपुर। प्रदेश में सत्ता बदलते ही पूर्ववर्ती कांग्रेस सरकार के फैसलों को बदलने का सिलसिला भी शुरू हो गया है। कृषि आयुक्तालय की ओर से दो दिन पहले जारी नियुक्ति आदेश को सही माने, तो राज्य सरकार ने पुरानी पेंशन व्यवस्था (ओपीएस) को बंद कर दिया।
कृषि आयुक्तालय ने 22 जनवरी को कार्यालय आदेश जारी कर 25 सहायक कृषि अनुसंधान अधिकारी (रसायन) के पदों पर चयनित अभ्यर्थियों को नियुक्ति दी है। इनका चयन राजस्थान लोक सेवा आयोग ने किया था। इस नियुक्ति पत्र में शर्तों की बिन्दु संख्या दो में स्पष्ट लिखा है कि नवनियुक्त अधिकारियों के लिए अंशदायी पेंशन योजना वित्त विभाग के परिपत्र दिनांक 29 जनवरी, 2004 एवं 13 मार्च, 2006 के अनुसार लागू होगी। यानी कि उनको नई पेंशन स्कीम मिलेगी। इस कार्यालय आदेश के बाद राज्य कर्मचारियों में हड़कंप मच गया। राजस्थान शिक्षक संघ (शेखावत) के प्रदेशाध्यक्ष महावीर सिहाग और महामंत्री उपेन्द्र शर्मा ने राज्य सरकार के इस कदम को कर्मचारियों पर घातक हमला करार दिया है। दोनों ने कहा है कि राज्य सरकार के इस निर्णय को किसी भी कीमत पर बर्दाश्त नहीं किया जाएगा और इसका जबरदस्त विरोध किया जाएगा। पूर्ववर्ती कांग्रेस सरकार में मुख्यमंत्री अशोक गहलोत 10 फरवरी, 2023 को विधानसभा में पेश बजट में राजस्थान सरकार के सभी कर्मचारियों के लिए ओपीएस लागू करने की घोषणा की थी। इस पर अमल करते हुए वित्त विभाग ने भी आदेश जारी कर दिए थे। यह ओपीएस स्कीम विश्वविद्यालयों, बोर्डों, निगमों और आयोगों के कर्मचारियों पर भी लागू की गई थी। उस समय कांग्रेस सरकार ने दावा किया था कि करीब सात लाख कर्मचारियों को ओपीएस का तोहफा दिया गया है। कई कर्मचारी संगठनों ने इसका स्वागत किया था।

Comment List