2700 करोड़ रुपए के मनी लॉन्ड्रिंग मामले में ईडी ने राजस्थान सहित कई शहरों में मारे छापे

जयपुर, जोधपुर, सीकर और झुंझुनूं में भी की गई छापेमारी

2700 करोड़ रुपए के मनी लॉन्ड्रिंग मामले में ईडी ने राजस्थान सहित कई शहरों में मारे छापे

अब ईडी मनी लॉन्ड्रिंग एक्ट के तहत जांच कर रही है। प्रारंभिक जांच में निवेशकों से ठगी कर बड़ी मात्रा में काले धन को सफेद करने का शक है।

जयपुर। प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने गुरुवार को 2700 करोड़ रुपए के मनी लॉन्ड्रिंग मामले में देशभर में छापेमारी शुरू की है। ईडी की टीम ने दिल्ली, गुजरात सहित राजस्थान में करीब 24 ठिकानों पर एक साथ छापेमारी की। मामला नेक्सा एवरग्रीन नामक प्रोजेक्ट में कथित धोखाधड़ी से जुड़ा है। राजस्थान के जयपुर, जोधपुर, सीकर और झुंझुनूं में एक साथ कार्रवाई की गई है। यहां से अहम दस्तावेजों को जब्त किया गया है। बताया गया है कि कंपनी ने निवेशकों को फ्लैट, जमीन या अधिक रेट पर पैसा लौटाने का झांसा दिया था, लेकिन समय पर भुगतान नहीं किया गया। मामले में पहले ही राजस्थान पुलिस की ओर से एफआईआर दर्ज की जा चुकी है।

अब ईडी मनी लॉन्ड्रिंग एक्ट के तहत जांच कर रही है। प्रारंभिक जांच में निवेशकों से ठगी कर बड़ी मात्रा में काले धन को सफेद करने का शक है। मामले से जुड़े दस्तावेज और डिजिटल सबूत जुटाए जा रहे हैं। ईडी की अलग-अलग टीम सीकर में मुख्य आरोपी रणवीर और सुभाष के गांव पनलावा में पहुंची। जहां घर पर सर्च किया जा रहा है। इसके साथ ही आरोपियों के परिवार से भी पूछताछ की। हालांकि रणवीर फिलहाल पैरोल पर जेल से बाहर आया हुआ है, जो अपने किसी फ्लैट में रह रहा है। ईडी ने झुन्झुनू में पूर्व सैनिक सलीम खान के घर छापा मारा। 

यूं शुरू हुआ धोखाधड़ी का खेल
जानकारी के अनुसार नेक्सा एवरग्रीन कंपनी का रजिस्ट्रेशन अहमदाबाद में 17 अप्रैल, 2021 में हुआ। रजिस्ट्रार ऑफ कंपनीज अहमदाबाद के रिकॉर्ड से पता चलता है कि यह कंपनी रियल एस्टेट एक्टिविटी के लिए रजिस्टर्ड कराई गई थी। जिसके मालिक सीकर के पनलावा निवासी सुभाष बिजारणियां व रणवीर बिजारणियां हैं। गुजरात में धोलेरा स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट के नाम पर लोगों से इंवेस्ट के नाम पर रुपए लेने लगा था। रणवीर और सुभाष ने केवल नेक्सा एवरग्रीन के नाम से ही नहीं, बल्कि कई अलग-अलग नाम से कंपनी बना ली थी। इन नामों से कई बैंकों में अकाउंट खोले गए थे। इन कंपनियों में डायरेक्टर अलग-अलग थे। लोगों को झांसे में लेने के लिए सारे प्रोजेक्ट और कंपनी के नाम अधिकतर धोलेरा सिटी के नाम पर ही रखे गए थे।

पैसा आना बंद हुआ तो हुआ खुलासा
कुछ हफ्तों तक लोगों के खातों में पैसे आए, लेकिन 17 जनवरी, 2023 को जब लोगों के अकाउंट में रुपए नहीं आए तो सभी परेशान हो गए। इस पर लोगों को कंपनी के एमडी सुभाष बिजारणियां ने सफाई देकर जल्द रुपए ट्रांसफर करने की बात कहीं। कई लोग गुजरात के धोलेरा सिटी में बनाए इनके फर्जी प्रोजेक्ट ऑफिस पहुंचे। जहां भी झूठा आश्वासन दिया गया था। कुछ दिन बाद कंपनी के एमडी बिजारणियां बंधु, दोनों की पत्नियां और कंपनी के इन्वेस्टमेंट मैनेजर फरार हो गए। इस केस में अलग-अलग जिलों में 200 से ज्यादा एफआईआर हुई है।

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